West Bengal

राजाभातखावा जंगल में पर्यटकों से एंट्री शुल्क वसूलने पर ममता का सख्त निर्देश : कोई अतिरिक्त पैसा न लिया जाए

अलीपुरद्वार में हुई प्रशासनिक बैठक में मुख्यमंत्री ममता

कोलकाता, 22 जनवरी (Udaipur Kiran) । डूआर्स के संरक्षित जंगलों में पर्यटकों से गाड़ी और व्यक्ति के आधार पर वसूले जा रहे शुल्क को लेकर पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने नाराजगी जताई है। बुधवार को अलीपुरद्वार में हुई प्रशासनिक बैठक में ममता ने स्पष्ट आदेश दिया कि राजाभातखावा जंगल समेत अन्य संरक्षित क्षेत्रों में पर्यटकों से कोई अतिरिक्त शुल्क नहीं लिया जाएगा।

राजाभातखावा के जंगलों में प्रवेश के लिए पर्यटकों से प्रति गाड़ी और प्रति व्यक्ति 2500 रुपये तक की एंट्री फीस वसूली जा रही थी। इस मुद्दे को बैठक में विधायक सुमन कांजीलाल ने मुख्यमंत्री के सामने उठाया। उन्होंने बताया कि पर्यटकों को जंगल में गाड़ी लेकर प्रवेश करने के लिए मोटी रकम चुकानी पड़ती है। इस पर ममता बनर्जी ने नाराजगी व्यक्त करते हुए पूछा, किसके आदेश पर यह पैसा लिया जा रहा है? यह फैसला किसने किया?

वन विभाग के एक अधिकारी ने जानकारी दी कि यह शुल्क मुख्य वन्यजीव वार्डन के निर्देश पर लिया जा रहा है और इसके लिए एक सूची भी तैयार की गई है। इस पर मुख्यमंत्री ने कड़ी आपत्ति जताते हुए कहा कि पर्यटकों से अतिरिक्त पैसा क्यों लिया जा रहा है? क्या वन विभाग सरकार से अलग है?

ममता बनर्जी ने तुरंत निर्देश देते हुए कहा, मैं अभी साफ कर रही हूं कि पर्यटकों से कोई अतिरिक्त शुल्क नहीं लिया जाएगा। उनके इस आदेश के बाद डूआर्स के संरक्षित जंगलों में पर्यटकों के लिए एंट्री मुफ्त कर दी गई है।

डूआर्स क्षेत्र पश्चिम बंगाल के प्रमुख पर्यटन स्थलों में से एक है। इस फैसले से पर्यटकों का आर्थिक बोझ कम होगा और क्षेत्र में पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा। मुख्यमंत्री का यह कदम पर्यटकों और स्थानीय पर्यटन व्यवसायियों के लिए राहत भरा साबित हो सकता है।

(Udaipur Kiran) / ओम पराशर

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