काठमांडू, 17 दिसंबर (Udaipur Kiran) । नेपाल के पूर्व उपप्रधानमंत्री रवि लामिछाने को तीन महीने बाद भी जिला अदालत से राहत नहीं मिल पाई है। मंगलवार को पुलिस ने चार दिन की रिमांड मांगी, जिसे अदालत ने मंजूर कर लिया है। अदालत में दाखिल चार्जशीट में रवि लामिछाने सहित सहकारी घोटाले के 51 अन्य आरोपितों पर 135 करोड़ रुपये के घोटाले का आरोप लगाया गया है।
पोखरा पुलिस की हिरासत में 60 दिनों तक रहने के बाद पूर्व गृहमंत्री रवि लामिछाने को आज पोखरा की जिला अदालत में पेश किया गया, जहां अदालत ने चार दिनों की रिमांड और बढ़ा दी। पोखरा पुलिस की दलील थी कि जब तक अदालत में औपचारिक रूप से आरोप पत्र नहीं दे दिया जाता, तब तक लामिछाने को पुलिस रिमांड में ही रखा जाए। पोखरा के एसपी श्यामबाबू ओलिया ने कहा कि केंद्रीय अनुसंधान विभाग सीआईबी के 600 पेज के आरोप पत्र को पढ़ने के बाद ही जिला न्यायाधिवक्ता उसे अदालत में जज के सामने औपचारिक रूप से पेश करेंगे।
सीआईबी के आरोप पत्र में रवि लामिछाने सहित 51 लोगों को आरोपित बनाया गया है। चार्जशीट में इन सभी पर 135 करोड़ रुपये के घोटाले का आरोप लगाकर इस रकम को वसूलने की मांग की गई है। इसके अलावा आरोप पत्र में रवि लामिछाने को अलग-अलग मामलों में 15 वर्ष कैद की मांग की गई है। उन पर सहकारी घोटाला, ठगी, जालसाजी, मनी लॉन्ड्रिंग और संगठित अपराध का मुकदमा चलने की मांग भी की गई है।
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(Udaipur Kiran) / पंकज दास