Delhi

महिलाओं को 2100 रुपये मासिक देने की केजरीवाल की घोषणा पूरी तरह चुनावी चालः देवेन्द्र

नई दिल्ली, 12 दिसंबर (Udaipur Kiran) । दिल्ली प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष देवेन्द्र यादव ने कहा है कि पिछले 11 वर्षों से दिल्ली की आधी आबादी की अनदेखी करने वाले अरविन्द केजरीवाल ने चुनावों में इस बार महिलाओं को 2100 रुपये देने का पासा फेंककर अपना चुनावी दाव चल दिया है। महिलाओं के विकास, कल्याण, सम्मान और सुरक्षा करने में विफल अरविन्द केजरीवाल एक बार फिर महिलाओं को धोखा देने का ब्लू प्रिंट तैयार कर रहे हैं।

देवेन्द्र यादव ने एक बयान में कहा कि महंगाई की दुहाई देकर महिलाओं को 2100 रुपये देने की घोषणा करने वाले केजरीवाल के भ्रष्टाचार, कुशासन और महिलाओं के प्रति निष्क्रियता के कारण महिलाओं की रसोई का बजट पूरी तरह से बिगड़ा हुआ है। भविष्य में कभी पूरा न होने वाले केजरीवाल के वादों की वास्तविकता दिल्ली की जनता भली भांति जानती है और इनके बहकावे में आने वाली नही हैं। उन्होंने कहा कि केजरीवाल ने नवम्बर 2022 में पंजाब विधानसभा चुनाव से पहले महिलाओं को एक हजार रुपये देने का वादा किया था, जिसके बाद वहां की महिलाएं अपने को ठगा हुआ महसूस कर रही हैं।

देवेन्द्र यादव ने कहा कि दिल्ली विधानसभा के 2020 और 2022 में निगम चुनावों के घोषणा पत्र में महिलाओं के विकास, कल्याण और सुरक्षा पर पूरी तरह चुप्पी साधने के बाद 2024 के विधानसभा चुनावों से पहले 2100 रुपये की घोषणा केवल दिल्ली की महिलाओं को भ्रम में डालकर वोट हासिल करने की साजिश है, क्योंकि मार्च में आतिशी ने मुख्यमंत्री महिला सम्मान योजना के तहत दिल्ली की महिलाओं को एक हजार रुपये मासिक देने की घोषणा की थी, उसकी क्या सच्चाई है, कोई नहीं जानता? जबकि 5 मार्च को तत्कालीन वित्त मंत्री आतिशी ने बजट में दो हजार का फंड योजना के लिए जोड़ने की घोषणा की थी।

देवेन्द्र यादव ने कहा कि दिल्ली सरकार ने दिल्ली में राशन और पेंशन पूरी बंद कर दिया है, कांग्रेस द्वारा लागू लाडली योजना को खत्म कर दिया, आंगनबाड़ी वर्कर और सहायिका को पदमुक्त कर दिया। गेस्ट टीचर, अनुबंधित टीचर जिनमें अधिकतर महिलाएं है, उन्हें नियमित वेतन नही दिया जा रहा है, फिर अपनी पार्टी की कुछ महिलाओं को एकत्रित करके 2100 रुपये मासिक महिलाओं को देने की घोषणा करके केजरीवाल झूठी सहानूभूति क्यों बटोर रहे हैं?

देवेन्द्र यादव ने कहा कि निर्भया कांड और महिला सुरक्षा के नाम पर आंसू बहाने वाले केजरीवाल ने दिल्ली में महिलाओं के प्रति बढ़ते अपराधों, अत्याचारों, प्रताड़ना, बलात्कार और यौन शोषण सिर्फ केन्द्र सरकार को कोसते नजर आते हैं। दिल्ली सरकार के स्कूलों में छात्रा सुरक्षित नहीं है, दिल्ली की महिलाएं घर और बाहर हर जगह असुरक्षित हैं, रैन बसेरों और आशा किरण होम में महिलाओं के साथ होने वाले हादसे और हत्या की जिम्मेदारी क्या सत्तासीन पार्टी के मुखिया अरविन्द केजरीवाल की नहीं है?

देवेन्द्र यादव ने दिल्ली की आबादी से अपील करते हुए कहा कि कांग्रेस न्याय संकल्प के अंतर्गत दिल्ली की प्रत्येक महिला के विकास, सुरक्षा, आत्मनिर्भरता, स्वरोजगार और सरकारी पदों को भरने में 50 प्रतिशत की औसत से बराबर का अधिकार दिलाएंगे। 2025 में जनता के सहयोग से दिल्ली विधानसभा चुनाव में बहुमत हासिल करने के बाद हम दिल्ली की शिक्षित, अशिक्षित, मध्यम और उच्च शिक्षित, पेशेवर, महिलाओं, घरों में काम करने वाली हमारी बहनों को स्वावलंबी बनाने, उनका आत्मसम्मान बढ़ाने और आत्मनिर्भर बनाने के लिए नीतिगत योजना लाएंगे।

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(Udaipur Kiran) / माधवी त्रिपाठी

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