West Bengal

गुरुदेव और परमहंस‌ के नाम पश्चिम बंगाल को मिले दो नए विश्वविद्यालय, विधानसभा में दोनों बिल पास

West Bengal Assembly

कोलकाता, 10 दिसंबर (Udaipur Kiran) । पश्चिम बंगाल विधानसभा ने मंगलवार को एक ही दिन में दो नए निजी विश्वविद्यालयों के लिए विधेयकों को पारित किया। ये विधेयक ‘द रवींद्रनाथ टैगोर यूनिवर्सिटी बिल 2024’ और ‘रामकृष्ण परमहंस यूनिवर्सिटी बिल 2024’ थे, जिन्हें शिक्षा मंत्री ब्रात्य बसु ने मंगलवार पेश किया।——–

रामकृष्ण परमहंस विश्वविद्यालय :

रामकृष्ण परमहंस विश्वविद्यालय का संचालन रामकृष्ण विवेकानंद मिशन द्वारा किया जाएगा। यह विश्वविद्यालय उत्तर 24 परगना के आगरपाड़ा में स्थित होगा और इसे जुलाई 2025 से शुरू करने की योजना है। रामकृष्ण विवेकानंद मिशन 1999 से विश्वविद्यालय की मान्यता के लिए प्रयासरत था और 2018 में उनकी अंतिम अपील पर शिक्षा विभाग ने सकारात्मक प्रतिक्रिया दी।

मंगलवार को बिल पास होने के अवसर पर मिशन के संन्यासियों ने विधानसभा में उपस्थित होकर मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और उनकी सरकार को इस कानूनी मान्यता के लिए धन्यवाद दिया।——-

रवींद्रनाथ टैगोर विश्वविद्यालय :

दूसरा विश्वविद्यालय हुगली जिले के धनियाखाली में स्थापित होगा और इसका संचालन कालीपद साहा मेमोरियल ट्रस्ट करेगा। भाजपा विधायक शंकर घोष ने इस विधेयक में ‘टैगोर’ की जगह ‘ठाकुर’ शब्द इस्तेमाल करने का सुझाव दिया। उन्होंने इसे औपनिवेशिक प्रभाव से मुक्त करने का तर्क दिया और हाल ही में नरेंद्र मोदी सरकार द्वारा बंगाली भाषा को शास्त्रीय भाषा का दर्जा देने का हवाला दिया।

शिक्षा मंत्री ब्रात्य बसु ने इस सुझाव का समर्थन करते हुए कहा कि वे इसे संबंधित विभाग के समक्ष रखेंगे। दोनों विश्वविद्यालयों की निगरानी मुख्यमंत्री ममता बनर्जी करेंगी।

(Udaipur Kiran) / ओम पराशर

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