जयपुर, 22 नवंबर (Udaipur Kiran) । कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने अडाणी मामले को लेकर भाजपा और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर गंभीर आरोप लगाए। डोटासरा ने कहा कि भाजपा और प्रधानमंत्री अडाणी के बारे में एक भी शब्द नहीं बोलेंगे। अमेरिकी कोर्ट से अडाणी को समन जारी होने के बावजूद भाजपा की तरफ से सफाई दी गई, जबकि यह काम अडाणी को करना चाहिए था। उन्होंने सवाल उठाया कि भाजपा को अडाणी की सफाई देने की क्या जरूरत थी?
डोटासरा ने कहा कि देश में हर महत्वपूर्ण प्रोजेक्ट का ठेका अडाणी को ही दिया जा रहा है, जो गंभीर चिंता का विषय है। उनका आरोप है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अडाणी के बीच मिलीभगत के कारण यह व्यापार अवैध रूप से बढ़ रहा है। कांग्रेस पार्टी इस मामले की जांच की मांग करती है। दोषी अधिकारियों और नेताओं को जेल में डालने और निवेशकों को धोखाधड़ी से बचाने के लिए कड़े कदम उठाने की जरूरत है।
डोटासरा ने कांग्रेस वॉर रूम में गुरुवार को मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि अडाणी का निवेश कांग्रेस शासन में हुआ था, और निवेश करना अपराध नहीं है। लेकिन निवेश के नाम पर धोखाधड़ी करना और लोगों को ठगना अपराध है। अमेरिकी कोर्ट में अडाणी से जुड़े दस्तावेजों से यह स्पष्ट हो गया है कि निवेशकों को धोखा दिया गया। रिश्वत देकर महंगी बिजली बेचने की डील का भार आम लोगों पर पड़ा है। उन्होंने कहा कि सेबी से तथ्य छुपाए गए, और अडाणी के भतीजे से जब्त किए गए इलेक्ट्रॉनिक उपकरण और दस्तावेज रिश्वतखोरी के सबूत पेश करते हैं।
डोटासरा ने गहलोत सरकार के दौरान राजस्थान में अडाणी के निवेश पर उठाए सवालों का जवाब देते हुए कहा कि किसी उद्योगपति का राज्य में निवेश करना गलत नहीं है। लेकिन रिश्वतखोरी और गड़बड़ी हुई है, तो यह जांच का विषय है। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को चुनौती दी कि केंद्र की डबल इंजन सरकार इस मामले की जांच करवाए।
उन्होंने भाजपा के नेतृत्व पर तंज कसते हुए कहा कि मुख्यमंत्री तो दिल्ली से मिले निर्देशों पर ही बयान देंगे। डोटासरा ने कहा कि मुख्यमंत्री को विवेक से बोलने के बजाय लिखित बयान देना चाहिए, ताकि अनावश्यक विवाद न खड़ा हो। उन्होंने इस दौरान समरावता की घटना पर भी भाजपा के रवैये की आलोचना की और केंद्र सरकार पर निशाना साधा।
(Udaipur Kiran) / रोहित