जींद, 21 नवंबर (Udaipur Kiran) । जुलाना खंड के गांव जैजैवंती के पास करसोला माइनर में जनस्वास्थ्य विभाग द्वारा सीवरेज का गंदा पानी डाला जा रहा है। यह पानी आगे चलकर राजगढ़, देशखेड़ा, कमाच खेड़ा, मालवी, फरमाना, बेडवा आदि गांव में जलघर के जरिए घरों में पहुंचता है। ऐसे में गंदा पानी सप्लाई में जाने से लोगों की सेहत के साथ जनस्वास्थ्य विभाग खिलवाड़ कर रहा है। यह पानी किसी भी लिहाज से पीने लायक नही होता।
अगर इस पानी को प्रयोग किया जाता है तो कैंसर और चर्म रोग जैसी बीमारियां भी क्षेत्र के लोगों में बढ़ रही हैं। कई बार ग्रामीण इसका विरोध भी कर चुके हैं लेकिन जनस्वास्थ्य विभाग के कानों पर जुं तक नही रेंग रही है। जुलाना क्षेत्र के लोगों की मांग है कि सीवरेज का गंदा पानी माइनर में ना डाला जाए जिससे उन्हें स्वच्छ पेयजल मिल सके।
जुलाना की करसोला माइनर का पानी जलघर के अलावा खेतों और तालाबों में भी गंदा पानी जाता है जिससे पशुओं के साथ भी खिलवाड़ हो रहा है। जलघर के माध्यम से अगर पानी घरों तक जाता है तो ग्रामीणों में पेट, चर्म और केंसर जैसी भयानक बीमारियां भी पनप रही हैं। अगर खेतों में सिंचाई में भी यह पानी जाता है तो फसल खराब होने के साथ जमीन भी बंजर हो सकती है। जुलाना में हो रही बड़ी लापरवाही की ओर प्रशासन का कोई ध्यान नही है।
गुरूवार को जनस्वास्थ्य विभाग जुलाना के एसडीओ नरेंद्र लाठर ने कहा कि सीवरेज के पानी को ड्रैन में डालने के लिए पाइप लाइन दबाई जा रही है। माइनर में पानी डालने के अलावा पानी को कहीं ओर डालने का रास्ता नही था तो डाला जा रहा है। अभी माइनर में पानी नही आ रहा है, इस लिए जलघरों में पानी सप्लाई नही किया जा रहा है। इस पानी को किसान अपने खेतों में प्रयोग कर सकते हैं।
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(Udaipur Kiran) / विजेंद्र मराठा