रायगढ़ , 16 नवंबर (Udaipur Kiran) ।एक ओर सरकार ग्रामीण क्षेत्र के लोगों को मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध करवाने के लिए हर संभव प्रयासरत है। लेकिन वहीं दूसरी ओर अभी भी कई गांव ऐसे हैं, जहां लोगों को मूलभूत सुविधाएं नहीं मिल पा रही है। सड़क, चिकित्सा, शिक्षा, पानी आदि सुविधाओं से लोगों को वंचित होना पड़ रहा है। ऐसा ही धर्मजयगढ़ विकासखण्ड में सुविधाओं से वंचित ग्राम पंचायत कंचीरा का आश्रित कौहाजोबा गांव है।
कौहाजोबा गांव में लगभग 22 से 25 घर परिवार निवासरत हैं। जहां पर लोग आज भी मूलभूत सुविधाओं की बाट जोह रहे हैं।इस कौहाजोबा गांव में न सड़कें हैं, और ही चिकित्सा की कोई सुविधा। इसके साथ ही बच्चों को शिक्षा प्राप्त करवाने के लिए स्कूल तक नहीं बना है, स्कूल के लिए बच्चों को पैदल उबड़-खाबड़ रास्ते से लगभग 4 से 5 किलोमीटर कंचीरा बस्ती जाना पड़ता है और झरिया, नाला का पानी पीकर जीवन यापन कर रहे हैं। एकमात्र हैंडपंप दिखावा के लिए बना हुआ है।
गांव के ग्रामीणों ने बताया कि पंचायत प्रशासन को कई बार गांव की मूलभूत सुविधाओं के अभाव के बारे में अवगत करा दिया, लेकिन अभी तक कोई कार्रवाई नहीं होने से लोगों की समस्या का समाधान नहीं हो पा रहा है। ग्रामीणों का आरोप है कि पंचायत द्वारा पंचायत मुख्यालय पर ही विकास कार्य करवाए जाते हैं, अन्य गांवों में नहीं है, जिस कारण से हमारे गांव में विकास कार्य नहीं है। सरपंच ने विकास के नाम पर आज तक हमारे मोहल्ले में कुछ भी नहीं किया है। हमें आज भी राशन लेने के लिए पंचायत पहुंचने के लिए उबड़ खाबड़ रास्ते से साथ दो नाला पार करके जाना पड़ता है। राशन को ढो़कर लाना पड़ता है। आगे उन्होंने कहा गांव में किसी व्यक्ति को गंभीर बीमार या अचानक कुछ हो जाए तो मुख्य बस्ती कंचीरा पहुंचते पहुंचते कई बार मृत्यु हो गई है। आगे उन्होंने नाराज भरे शब्दों से कहा गांव का मुखिया गुन्नू बड़ा का कार्यकाल समाप्त होने को है, लेकिन आज तक कोई विकास के नाम पर कोई काम नहीं किया। यानी कि सीधा सीधा अगर कहें तो वर्तमान में सरपंच को निष्क्रिय बताया,और सरपंच के कार्यप्रणाली से कौहाजोबा के गांववासी नाराजगी जताई है।
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(Udaipur Kiran) / रघुवीर प्रधान