जौनपुर ,15 नवंबर (Udaipur Kiran) । सिरकोनी क्षेत्र के सई गोमती नदी के संगम स्थल राजेपुर त्रिमुहानी में शुक्रवार को कार्तिक पूर्णिमा के मौके पर हजारों श्रद्धालुओं ने स्नान करके रामेश्वरम महादेव का दर्शन पूजन व जलाभिषेक किया।
मेले में आस पास के गांवों के लोगों के अलावा अन्य जनपदों के लोगों ने भी स्नान कर दर्शन पूजन किया। मेले में भोर से ही लोगों ने संगम में स्नान करना शुरू कर दिया। दिन बढ़ने के साथ साथ भीड़ बढ़ने लगी और दोपहर होते होते हजारों लोग जमा होने लगे। पुरुषों ने मेले का मशहूर रेवड़ा खरीदा तो महिलाओं ने श्रृंगार का सामान खरीदने में दिलचस्पी लिया। बच्चों ने भी खिलौने खरीदे। मेले में लगे झूले व चरखे का भी महिलाओं व बच्चो ने आनंद उठाया। सुरक्षा की दृष्टि से भारी संख्या में पुलिस बल मौजूद रहा। थानाप्रभारी घनानंद त्रिपाठी लगातार मेले में चक्रमण करते रहे। उन्होंने कई मनबढ़ों को हुड़दंग मचाने पर पकड़ कर बैठाया।
इस स्थान का महत्व
गोस्वामी तुलसीदास कृत श्रीरामचरितमानस में वर्णित पंक्ति सई उतरि गोमती नहाए, चौथे दिवस अवधपुर आए। राजेपुर स्थित पवित्र सई- गोमती नदी के संगम स्थल का आध्यात्मिक दृष्टि से महत्वपूर्ण होना सिद्ध करता है। यहां भरतजी ने अवधपुरी वापस जाते समय स्नान किया था। प्रतिवर्ष कार्तिक पूर्णिमा के दिन बड़ी तादाद में श्रद्धालु पुण्य लाभ की कामना से यहां संगम में डुबकी लगाते हैं। दोनों नदियों के तीनो पार राजेपुर, विजयीपुर व उदपुर में मेला लगने के कारण यह त्रिमुहानी मेले के नाम से भी प्रसिद्ध है। यहां कार्तिक पूर्णिमा के दिन भोर से ही स्नान ध्यान व रामेश्वर धाम में दर्शन करने के लिए श्रद्धालुओं के आने का क्रम शुरू हो जाता है। जो पूरे दिन तक चलता रहता है। यहां लाई चिवड़ा व रेवड़े की खूब बिक्री होती है। भेड़ों की लड़ाई भी इस मेले का प्रमुख आकर्षण है। इस वर्ष कार्तिक पूर्णिमा के दिन चंद्र ग्रहण लगने के कारण स्नानार्थियों की संख्या अधिक होने की संभावना भी जताई जा रही है।
(Udaipur Kiran) / विश्व प्रकाश श्रीवास्तव