अजमेर, 14 नवंबर (Udaipur Kiran) । पुष्कर मेले के दौरान कार्तिक पूर्णिमा के अवसर पर शुक्रवार 15 नवम्बर को पुष्कर सरोवर के सभी 52 घाटों से एकसाथ महाआरती की जाएगी। पुष्कर नगर परिषद के सौजन्य से होने वाले इस विशेष आयोजन की जिम्मेदारी पंडित रविकांत शर्मा को सौंपी गई है। रविकांत शर्मा ने बातचीत के दौरान बताया कि 15 नवम्बर को शाम 6 बजे सभी 52 घाटों पर ब्राह्मण बालकों द्वारा सामूहिक रूप से यह महाआरती की जाएगी। इसके पश्चात नगर परिषद की और से भव्य आतिशबाजी का आयोजन भी होगा। इसी के साथ बीते 8 दिनों से चल रहा पुष्कर का धार्मिक मेला संपन्न हो जाएगा।
खास बात यह है कि अपने आप में पहली बार हो रहे इस कार्यक्रम में राजस्थान की उप मुख्यमंत्री दीया कुमारी सिंह भी हिस्सा लेंगी। इस अवसर पर राज्य के जल संसाधन मंत्री और पुष्कर विधायक सुरेश सिंह रावत एवं पुष्कर नगर परिषद के सभापति कमल पाठक के द्वारा उनका स्वागत किया जाएगा। जयपुर घाट पर जब दीया कुमारी पहुंचेगी तो उनके स्वागत के लिए न सिर्फ रंगोली बनाई जाएगी। बल्कि राजस्थानी लोक कलाकारों द्वारा उनकी अगवानी की जाएगी। इसके लिए प्रशासनिक स्तर पर तैयारियां अंतिम चरणो में चल रही है ।
कार्तिक पूर्णिमा का होगा महास्नान , लगभग 2 लाख श्रद्धालु लगाएंगे पवित्र सरोवर में डुबकी
बीते चार दिनों से पुष्कर तीर्थ में चल रहे रहा कार्तिक पंच तीर्थ महास्नान कल पूर्णिमा स्नान के साथ ही संपन्न हो जाएगा । कार्तिक पूर्णिमा के अवसर पर होने वाले इस विशेष स्नान में राजस्थान सहित देश के कोने-कोने से भारी संख्या में श्रद्धालु पुष्कर पहुंचकर हिस्सा लेंगे । अनुमान के मुताबिक 2 लाख से ज्यादा श्रद्धालु यात्री कल पवित्र सरोवर के जल में डुबकी लगाकर पुण्य के भागी बनेंगे ।यही वजह है कि नगर परिषद की ओर से घाटों पर सफाई के विशेष इंतजाम किए जा रहे हैं तो वहीं घाटों के किनारे जमी काई को हटाने में भी कई महिला कर्मचारियों की सेवाएं ली जा रही है ।स्नान के दौरान किसी भी श्रद्धालु के साथ कोई अप्रिय घटना ना हो इसके लिए प्रशासन के द्वारा सिविल डिफेंस के 80 से ज्यादा वॉलिंटियर तैनात किए गए हैं तो वहीं चोर उचक्कों से श्रद्धालुओं के सामान की रक्षा करने के लिए पुलिस जाप्ते को भी तैनात किया जा रहा है । आपको बता दें कि कल सुबह 5:00 बजने के साथ ही कार्तिक पूर्णिमा का महास्नान शुरू हो जाएगा जो देर शाम तक जारी रहेगा ।
कार्तिक पूर्णिमा के दौरान पद्धक महायोग शुक्रवार काे
कार्तिक पंच तीर्थ महा स्नान के दौरान कल पूर्णिमा की रात्रि को एक ऐसा पद्मक महायोग बनने जा रहा है जिसकी प्रतिक्षा इस धरती पर विचरण करने वाले कोटि-कोटि देवता भी करते हैं । पूरे साल भर में केवल एक बार दो ढाई घंटे के लिए बनने वाले इस महायोग के लिए ऐसी मान्यता है कि इस दौरान जो भी श्रद्धालु पवित्र सरोवर के जल में डुबकी लगाता है , स्नान करता है, पूजा अर्चना करता है और ब्राह्मण तीर्थ पुरोहितों को दान पुण्य करता है उसे अक्षय कोटी फल प्राप्त होता है ।उस व्यक्ति का पुण्य कभी क्षय नहीं होता । साथ ही उस व्यक्ति को सीधे मोक्ष की प्राप्ति होती है । यही वजह है कि पद्मक योग में स्नान करने का पद्म पुराण में भी विशेष उल्लेख किया गया है । पंडित कैलाश नाथ दाधीच के अनुसार सतयुग काल में पवित्र सरोवर के जल में इतनी सामर्थ्य थी की जो भी श्रद्धालु या दैत्य इस जल में स्नान करते तो उन्हें उसी क्षण स्वर्ग की प्राप्ति करने का अधिकारी बना दिया जाता था । यही वजह थी कि स्वर्ग में जाने वाले लोगों की तादाद तेजी से बढ़ने लगी । इसके बाद देवताओं ने चिंतित होकर भगवान ब्रह्मा से प्रार्थना की कि आपके इस तीर्थ से सृष्टि का संतुलन गड़बड़ाने लगा है इसलिए इस पुष्कर तीर्थ का अस्तित्व ही समाप्त कर दीजिए । इसके पश्चात भगवान ब्रह्मा ने बीच का रास्ता निकालते हुए इस जल की जो ऊर्जा थी उसे अंतरिक्ष में स्थापित कर दिया । ऐसा माना जाता है कि पुष्कर सरोवर की जो असली ऊर्जा है वह केवल पद्मक योग के दौरान अंतरिक्ष से उतरकर पुनः इस जल में विद्यमान हो जाती है । यही कारण है कि इस महायोग के दौरान सरोवर के जल में वही सामर्थ्य उत्पन्न हो जाती है जो सतयुग काल के दौरान हुआ करती थी । इसीलिए साल भर कई श्रद्धालु और इस धरती पर विचरण करने वाले कोटि-कोटि देवता भी इस महायोग के आने का इंतजार करते हैं । आपको बता दें की रात्रि 9:55 से इस महायोग की शुरुआत होगी जो लगभग ढाई घंटे तक जारी रहेगी।
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(Udaipur Kiran) / संतोष