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एसआई परीक्षा मामला: परीक्षा रद्द न करने की मांग को लेकर ट्रेनी एसआई के परिजनों ने दिया धरना

एसआई परीक्षा मामला: परीक्षा रद्द न करने की मांग को लेकर ट्रेनी एसआई के परिजनों ने दिया धरना

जयपुर, 13 अक्टूबर (Udaipur Kiran) । एसआई भर्ती परीक्षा 2021 को रद्द न करने की मांग को लेकर रविवार को बड़ी संख्या में ट्रेनी एसआई के परिवारजन शहीद स्मारक पर धरना दिया। जो लोग गलत तरीके से इस परीक्षा को पास कर ट्रेनिंग कर रहे हैं, उनके खिलाफ सरकार कठोर कार्रवाई करे। बेकसूरों के भविष्य के साथ खिलवाड़ न किया जाए। एसआई के परिजनों ने सीएम से मिलने का समय भी मांगा है। इनके पक्ष में तमाम संगठन भी आ गए हैं।

प्रदर्शन में पहुंची एक युवती का कहना है कि एक साल से उसका भाई ट्रेनिंग कर रहा है। दिन-रात मेहनत कर रहा है। त्योहार पर भी घर नहीं आ पाता। एसओजी की जांच में आया कि पेपर लीक हुआ तो उसका दोष निर्दोष को क्यों दिया जाए। आरपीएससी की गलतियों की सजा निर्दाेष क्यों भुगतें।

ट्रेनी सब इंस्पेक्टरों का कहना है कि कुछ लोगों के फर्जी तरीके से जॉइनिंग लेने से सभी के साथ अन्याय नहीं किया जा सकता। प्रशिक्षु सब इंस्पेक्टर ने सालों मेहनत करके इस पद को हासिल किया है। एक साल से अधिक का समय ट्रेनिंग करते हुए हो गया है। अगर यह भर्ती रद्द की गई तो ईमानदार और मेहनत से बने एसआई के साथ गलत होगा। हाल ही में सुप्रीम कोर्ट ने भी नीट परीक्षा के बारे में नकल से सिलेक्ट हुए अभ्यर्थियों को ही बाहर किया। पूरी चयन प्रक्रिया को निरस्त नहीं किया गया। फर्जी तरीके से सिलेक्ट हुए बहुत से अभ्यर्थी जेल में हैं। एसओजी जांच पूरी करे। फर्जी अभ्यर्थियों को पकड़ा जाए, उनके स्थान पर मेरिट में नीचे वालों को लिया जाए।

छह मंत्रियों की कमेटी को करना है फैसला

एसआई भर्ती परीक्षा 2021 को लेकर छह मंत्रियों की कमेटी को फैसला करना है। कमेटी बनने के बाद से ही ट्रेनिंग कर रहे एसआई परेशान हैं। ट्रेनिंग कर रहे एसआई का कहना है कि भर्ती परीक्षा 2021 में कुल 859 अभ्यर्थी पास हुए। इनकी ट्रेनिंग जयपुर आरपीए, किशनगढ़ और जोधपुर ट्रेनिंग सेंटर में चल रही है। इनमें से 50 ट्रेनी एसआई को गिरफ्तार किया जा चुका है। ये कुल पास अभ्यर्थियों का पांच प्रतिशत है। अगर परीक्षा रद्द होती है तो शेष 95 प्रतिशत ट्रेनी एसआई का भविष्य खराब हो जाएगा। जीवन के चार साल खत्म हो जाएंगे। ये ट्रेनी एसआई कुछ सामाजिक संगठनों के जरिए अपनी बात सरकार तक पहुंचाने की कोशिश कर रहे हैं।

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(Udaipur Kiran)

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