बाराबंकी, 20 सितंबर (Udaipur Kiran) । महादेवा में सड़क चौड़ीकरण का कार्य बाधित है। पांच माह पहले लोधौरा चौराहा से केसरीपुर मोड़ तक चौड़ीकरण के लिए रोड़े डाले गए मगर अब तक डामरीकरण नहीं किया गया। दो तीन माह बाद महादेवा महोत्सव होगा तब बड़ी दिक्क़त होगी। जिले के प्रभारी मंत्री द्वारा महादेवा में पूजा के बाद सड़कों के चौड़ीकरण में हो रही देरी का मुद्दा उठ सकता है।
लोधौरा चौराहे से लेकर केसरीपुर तक की सड़क चौड़ीकरण का कार्य बीते अप्रैल माह से शुरु हुआ, लेकिन ठेकेदारों की लापरवाही व जूनियर इंजीनियरों की कार्य शैली से अब तक सड़क चौड़ी नहीं हो सकी। ठेकेदारों से कार्य इस कदर सुस्त कराया गया कि अभी तक बाहरी सड़क चौड़ी नहीं हो सकी। यही नहीं सड़क के किनारे पड़े रोडो को ठेकेदारों ने बराबर भी नहीं किया और कार्य बंद कर दिया। महादेवा मुख्यमंत्री के ड्रीम प्रोजेक्ट में है मगर ठेकेदारों व जूनियर इंजीनियर शैलेन्द्र पाल, अरविन्द वर्मा की लापरवाही ने कार्य की प्रगति नहीं होने दी। इन लोगों की लचर कार्य शैली सरकार की छवि को धब्बा लगा रही है। अब यंहा एक अन्य जे ई को लगाया गया है मगर उनके द्वारा भी कोई रुचि नहीं ली जा रही है। जिस तरह कार्य का रवेया है उससे लगता है कि अगह्नी मेले तक सड़क चौड़ी नहीं हो पाएगी। पटरी की कौन कहे। इस सड़क चौड़ी करण में कोई विवाद भी नहीं मगर विभागीय सुस्ती से कार्य बंद है।
अंदर की रजिस्ट्री भी बाधित
मंदिर के सामने से निकली सड़क भी चौड़ी होगी, जिसमें कई लोगों कि जमीन व घर का कुछ हिस्सा जाएगा। उसकी रजिस्ट्री भी नहीं शुरु हो रही है। सहायक अभियंता उदित भटनागर इस कार्य के लिए जोर शोर से लगे हैं मगर सहमति नहीं बन रही है क्योंकि तैनात दोनों जेई बातचीत नहीं कर सके। अब सबसे सहमति लेने में दिक्क़त बनी है और तहसील का सहयोग लिया जा रहा है। कारीडोर निर्माण की शुरुआत से पहले सड़कें बननी हैं मगर जूनियर इंजीनियरों व ठेकेदारों की लापरवाही भारी पड़ रही है।
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(Udaipur Kiran) / पंकज कुमार चतुवेर्दी