कानपुर, 12 सितम्बर (Udaipur Kiran) । समाज में यह देखा जा रहा है कि हर व्यक्ति आनलाइन के जरिये अतिरिक्त आय बढ़ाना चाहता है। ऐसे में साइबर अपराधी अतिरिक्त आय को ही ढाल बनाते हैं और सोशल मीडिया के विभिन्न प्लेटफार्मों में तरह तरह की तकरीब निकाल लोगों को अतिरिक्त आय का झांसा देते हैं। एक बार इनके ट्रेप में जहां लोग फंसते हैं तो फाइनली साइबर ठगी के शिकार हो ही जाते हैं। साइबर ठगी होने पर फौरन साइबर हेल्प लाइन न0 1930 डायल करें व cybercrime.gov.in पर अपनी शिकायत दर्ज करें। यह बातें गुरुवार को साइबर सुरक्षा की विशेष कार्यशाला में एसीपी साइबर मो0 मोहसिन खान ने कही।
साइबर अपराध से बचने के लिए जागरुकता बहुत जरुरी है। इसी क्रम में साइबर क्राइम ब्रांच द्वारा चलाए जा रहे साइबर अवेयरनेस सेशन में गुरुवार को एसीपी साइबर क्राइम मोहसिन खान ने कैंट स्थित 46 ASC कपंनी में एनसीसी के अधिकारियों व एनसीसी के 200 कैडेट्स को साइबर सुरक्षा के उपाय बताए। उन्होंने वर्तमान में हो रहे साइबर अपराध जैसे डिजिटल अरेस्ट को समझाते हुए जागरुक किया। एसीपी साइबर ने बताया कि साइबर क्रिमिनल आपको डर या लालच दिखाकर अपने वश में करने का प्रयास करते हैं वो आपके इमोशन पर कंट्रोल लेने की कोशिश करते हैं। सोशल मीडिया के हो रहे विभिन्न अपराधों पर चर्चा करते हुए एकाउंट्स को सुरक्षित रखने के उपाए बताए गए।
टास्क बेस्ड जॉब फ्राड पर की गयी चर्चा
एसीपी साइबर ने बताया कि साइबर अपराधी ये अच्छे से जानते हैं कि आज प्रत्येक व्यक्ति एक अतिरिक्त आय का साधन बनाना चाहता हैं। इसीलिए ये अपराधी लगभग सभी के मोबाइल पर वाट्सअप या टेलीग्राम के माध्यम से मैसेज भेजते हैं और छोटे-छोटे टास्क बताते हैं जैसे किसी यूट्यूब वीडियो को लाइक, शेयर या सब्सक्राइब करना और इसके एवज में वे कुछ रूपए देते हैं। पहले आपको छोटी धनराशि दी जाती है और जैसे ही आप उनके झांसे में आ जाते हैं आपको एक फर्जी वेबसाइट पर लॉग-इन कराके फर्जी अर्जित धनराशि दिखाई जाती है जिसे रिलीज करने के लिए आपसे पैसे मांगे जाते हैं और जैसे ही आपने पैसे ट्रांसफर किए आपको प्लेटफार्म से ब्लाक कर दिया जाता है।
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(Udaipur Kiran) / अजय सिंह