अयोध्या, 30 अगस्त (Udaipur Kiran) । डॉ राम मनोहर लोहिया अवध विश्वविद्यालय में शुक्रवार को 45वें सिपकान सम्मेलन सेमिनार का आयोजन किया गया। इस सेमीनार का आयोजन मनोरोग विभाग राजर्षि दशरथ मेडीकल कालेज तथा भारतीय मनोचिकित्सा संघ की सेंट्रल जोन इकाई के सहयोग से किया। आयोजन के मुख्य वक्ता जाने माने मनोचिकित्सक डाॅ. शेखर पी शेषाद्रि रहे। सेमिनार का विषय “इनपावरिंग माइंड फोकस आन मेंटल हेल्थ” था। कार्यक्रम का शुभारंभ अधिष्ठाता छात्र कल्याण प्रो. नीलम पाठक के द्वारा किया गया।
इस मौके पर डाॅ. शेखर पी ने मानसिक स्वास्थ्य व्यक्ति के सोचने, महसूस करने और कार्य करने के तरीके पर प्रकाश डालते हुए कहा कि जीवन के हर चरण में मानसिक स्वास्थ्य महत्वपूर्ण होता है। उन्होंने कहा कि शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य दोनों ही व्यक्ति के समग्र स्वास्थ्य के महत्वपूर्ण पहलू हैं। उन्होंने बताया कि काउंसलर के पास बिना झिझक जाया जा सकता है। उन्होंने बताया कि अवसाद कई तरह की शारीरिक स्वास्थ्य समस्याओं को बढ़ाता है। इसी तरह दीर्घकालिक चिकित्सा समस्याएं होने से मानसिक बीमारी की संभावना बढ़ सकती है।
उन्होंने तनाव को कम करने के तरीक़ों पर बात करते हुए कहा कि चिंता पहचानना भी एक बहुत बड़ा सवाल है। उन्होंने उपस्थित समस्त शिक्षकों तथा व्यावहारिक मनोविज्ञान के समस्त छात्र-छात्राओं की प्रश्नों के उत्तर दिए।
डॉक्टर गीतिका श्रीवास्तव ने कार्यक्रम का संचालन किया एवं अतिथि को स्मृति चिन्ह डॉ प्रतिभा त्रिपाठी द्वारा दिया गया। कार्यक्रम में प्रोफ़ेसर शैलेन्द्र शर्मा, डॉ सिन्धू, डाॅ. सरिता पाठक, स्वाति उपाध्याय, आशीष मिश्रा तथा अनेक सम्मानित शिक्षक और अनेक छात्र-छात्राएं उपस्थित रहे।
(Udaipur Kiran) / पवन पाण्डेय