जम्मू, 25 जुलाई (Udaipur Kiran) । सीएसआईआर-इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ इंटीग्रेटिव मेडिसिन, जम्मू में “औद्योगिक जैव प्रौद्योगिकी”, “मेडिकल माइक्रोबायोलॉजी” और “प्राकृतिक उत्पाद रसायन विज्ञान” पर दस दिवसीय युवा कौशल कार्यशाला का समापन हुआ जिसमें जम्मू और उधमपुर के विभिन्न कॉलेजों से आए 150 छात्रों ने पूरे जोश और उत्साह के साथ भाग लिया।
बायोनेस्ट बायोइनक्यूबेशन सेंटर के अध्यक्ष और सीएसआईआर-आईआईआईएम के निदेशक डॉ. ज़बीर अहमद समापन सत्र में मुख्य अतिथि थे। उन्होंने प्रतिभागियों को युवा कौशल कार्यशाला के सफल समापन पर बधाई दी और कार्यशाला के दौरान उनके समर्पण और मेहनती उत्साह की सराहना की। उन्होंने रोजगारोन्मुखी व्यावहारिक प्रशिक्षण प्रदान करने के साथ-साथ प्रतिभागियों के बीच वैज्ञानिक स्वभाव को बढ़ाने में इन कार्यशालाओं के महत्व पर जोर दिया। उन्होंने यह भी कहा कि ये कार्यशालाएं युवा कॉलेज के छात्रों को शोध का अवसर भी प्रदान करती हैं और उन्हें शोध को करियर के रूप में अपनाने के लिए प्रोत्साहित कर सकती हैं। उन्होंने कहा कि विकसित भारत-2047 के लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए इस तरह की कार्यशालाएं और कौशल पाठ्यक्रम आवश्यक हैं।
कार्यशाला में हैकाथॉन 4.0 भी शामिल था जिसमें 37 समूहों ने हर्बल उत्पादों से संबंधित व्यावसायिक विचार प्रस्तुत किए जिनमें से शीर्ष तीन को पुरस्कृत किया गया। इस कार्यक्रम का आयोजन डॉ. सौरभ सरन के मार्गदर्शन में बायोनेस्ट बायोइन्क्यूबेशन सेंटर द्वारा किया गया था।
(Udaipur Kiran) / राहुल शर्मा / बलवान सिंह