उज्जैन, 18 जुलाई (Udaipur Kiran) । श्रावण-भादौ माह में बढ़ी संख्या में श्री महाकालेश्वर मंदिर आने वाले श्रद्धालुओं की संख्या को देखते हुए दर्शन व्यवस्था निर्धारित की गई है। कलेक्टर सह मंदिर प्रबंध समिति अध्यक्ष नीरजकुमारसिंह ने यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि श्री महाकालेश्वर मंदिर में आगंतुक सामान्य श्रद्धालुओं के सरल-सुलभ दर्शन की व्यवस्था के लिए प्रवेश त्रिवेणी संग्रहालय के समीप से – नंदीद्वार – श्री महाकाल महालोक – मानसरोवर भवन – फेसेलिटी सेंटर 01 – टनल मंदिर परिसर – कार्तिक मण्डपम – गणेश मण्डपम से भगवान श्री महाकालेश्वर जी के दर्शन करेंगे साथ ही भारत माता मंदिर की ओर से प्रशासनिक कार्यालय के सम्मुख से आने वाले श्रद्धालु शंख द्वार से मानसरोवर भवन में प्रवेश कर – फेसेलिटी सेंटर 01 – टनल मंदिर परिसर – कार्तिक मण्डपम – गणेश मण्डपम से दर्शन उपरांत निर्गम द्वार (निर्माल्य द्वार) अथवा नवीन आपातकालीन निर्गम द्वार से सीधे बाहर की ओर प्रस्थान करेंगे।
शीघ्र दर्शन रु. 250
टिकिटधारी श्रद्धालुओं की दर्शन व्यवस्थाः- द्वार नंबर 04 के रास्ते – विश्रामधाम- रेम्प – सभामण्डपम् होते हुए – गणेश मण्डपम् से भगवान श्री महाकालेश्वर जी के दर्शन करेंगे। द्वार नम्बर 01 के रास्ते-फेसेलिटी सेन्टर 01 – व्यूकटर के रास्ते – मंदिर परिसर – कार्तिक मंडपम – गणेश मंडपम् से भगवान श्री महाकालेश्वर जी के दर्शन करेंगे। दर्शन उपरांत निर्गम द्वार (निर्माल्य द्वार) अथवा नवीन आपातकालीन निर्गम द्वार से मंदिर से बाहर की ओर प्रस्थान करेंगे।
कावड़ यात्रियों की दर्शन व्यवस्था :-
श्री महाकालेष्वर मंदिर में श्रावण-भादौ मास में अत्यधिक संख्या में कावड़ यात्रियों का आगमन बाबा महाकाल को जल अर्पण करने के लिए होता हैं। आगन्तुक कावड़ यात्रियों को पूर्व सूचना दिए जाने पर शनिवार, रविवार, सोमवार को छोड़कर द्वार नंबर 04 से प्रवेश दिया जाकर विश्रामधाम- रेम्प- सभा मण्डपम् में जल पात्र के माध्यम से बाबा महाकाल को जल अर्पण करने की व्यवस्था निर्धारित रहेगी एवं द्वार नम्बर 01 के रास्ते – फेसेलिटी सेन्टर 01 – टनल के रास्ते – मंदिर परिसर-कार्तिक मंडपम – गणेश मंडपम् से भगवान श्री महाकालेश्वर जी को जल अर्पण करेंगे। ऐसे कावड़ यात्री जो बिना किसी पूर्व सूचना के सीधे मंदिर पहुंचते है अथवा शनिवार, रविवार, सोमवार को कावड़ लेकर पधारते है उक्त कावड़ यात्रियों की दर्शन व्यवस्था सामान्य श्रद्धालु की भांति निर्धारित रहेगी। उक्त कावड़ यात्री कार्तिक मण्डपम् में लगे जल पात्र में जल अर्पण करेंगे । शनिवार, रविवार, सोमवार को किसी भी कावड़ संघ को अनुमति अथवा विशेष द्वार से प्रवेश करने की सुविधा प्राप्त नहीं होगी।
भस्मार्ती में पंजीयनधारी श्रद्धालुओं की दर्शन व्यवस्था :-
श्रावण-भादौ मास 2024 के उपलक्ष्य पर भस्मार्ती में पंजीयनधारी श्रद्धालुओं के प्रवेश संबंधी व्यवस्था मानसरोवर भवन एवं द्वार नंबर 01 से निर्धारित रहेगी।
चलित भस्मार्ती दर्शन व्यवस्था :- श्रावण-भादौ मास 2024 में प्रचलित व्यवस्था अनुसार अवंतिका द्वार से भस्मार्ती में चलित दर्शन की व्यवस्था निर्धारित रहेगी, भस्मार्ती के दौरान आगंतुक श्रद्धालु कार्तिकेय मण्डपम् की अंतिम तीन पंक्तियों से चलित भस्मार्ती दर्शन कर सकेंगे।
विशिष्ट एवं अतिविशिष्ट अतिथियों की दर्शन व्यवस्था :-
श्रावण-भादौ मास 2024 के उपलक्ष्य पर श्री महाकालेश्वर मंदिर में आगंतुक विशिष्ट/अतिविशिष्ट श्रद्धालु नीलकण्ठ मार्ग से होते सत्कार कक्ष में पहुंचेंगे तदुपरांत निर्माल्य द्वार से मंदिर में प्रवेश कर सूर्यमुखी द्वार के रास्ते नगाड़ा गेट से नंदी मण्डपम्/गणेश मण्डपम् के प्रथम बैरिकेट से भगवान श्री महाकालेश्वर जी के दर्शन करेंगे एवं दर्शन उपरांत पुनः इसी मार्ग से बाहर की ओर प्रस्थान करेंगे।
पुजारी/पुरोहित/मीडियाकर्मियों के प्रवेश मार्ग0 की व्यवस्था :-
श्रावण-भादौ मास 2024 के उपलक्ष्य पर श्री महाकालेश्वर मंदिर के पुजारी, पुरोहित एवं मीडियाकर्मी बड़ा गणेश मंदिर के समीप वाली गली से द्वार नंबर 04 से मंदिर में प्रवेश कर विश्राम धाम, रेम्प के रास्ते सभामंडप होते हुए प्रवेश करेंगे।
(Udaipur Kiran) / ललित ज्वेल / राजू विश्वकर्मा