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दिल्ली एनसीआर में 80 गैंग सक्रिय, इनमें आठ बड़े गैंग

अंतरराज्यीय बैठक में भाग लेते हरियाणा, पंजाब व हिमाचल के पुलिस महानिदेशक

– उत्तर भारत के सात राज्यों में नशा तस्करी एवं संगठित अपराध रोकने को पुलिस महानिदेशकों की बैठ

– एनआईए, एनसीबी और हरियाणा के संबंधित अधिकारी भी हुए शामिल

– तस्करों का डेटा बेस साझा करने पर सहमति, एसपी स्तर के अधिकारी बनेंगे नोडल अफसर

चंडीगढ़, 31 जनवरी (Udaipur Kiran) । हरियाणा सहित उत्तर भारत के राज्यों में नशा तस्करी, संगठित अपराध रोकने एवं गैंगस्टरों पर शिकंजा कसने को लेकर शुक्रवार को पंचकूला में सात राज्यों के पुलिस महानिदेशकों, एनआईए, एनसीबी, नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो हरियाणा और स्पेशल टास्क फ़ोर्स हरियाणा के अधिकारियों की उच्च स्तरीय बैठक आयोजित की गई।

बैठक में सात राज्यों- हरियाणा, हिमाचल प्रदेश, पंजाब, दिल्ली, चंडीगढ़, राजस्थान तथा उत्तराखंड आदि राज्यों में अपराधिक गतिविधियों को रोकने के लिए आपसी समन्वय स्थापित करने के बारे में चर्चा की गई। इसके अतिरिक्त अंतरराज्यीय ड्रग सचिवालय के कार्यान्वन और सीमा पार चल रहे नशा तस्करी एवं संगठित अपराध को रोकने और प्रदेश पुलिस के बेहतर तालमेल पर चर्चा की गई।

बैठक में इस बारे में बताया गया कि नशे की आवाजाही के लिए अपराधियों द्वारा किस प्रकार युवाओं को निशाना बनाया जाता है। बैठक में नशा तस्करी पर अंकुश लगाने को लेकर सभी राज्यों के बीच को-आर्डिनेशन होने की आवश्यकता पर बल दिया गया। सभी अधिकारियों ने इस बात पर सहमति जताई कि राज्यों के बीच में अपराधियों का डाटा बेस साझा करने के लिए राज्यों की संयुक्त टीम बनाई जानी चाहिए। राज्य अंतरराज्यीय ड्रग सचिवालय के बेहतर कार्यान्वन के लिए अपने प्रदेश में एसपी रैंक में नोडल अधिकारी नियुक्त करेंगे ताकि सूचनाओं का वास्तविक समय में आदान प्रदान किया जायेगा।

बैठक में एनसीबी के डिप्टी डायरेक्टर जनरल संबित मिश्रा ने बताया कि नशा तस्करी के रूट पहचानने की ज़रूरत है ताकि सभी प्रदेश अफीम व अन्य मादक पदार्थों की सीमा पार तस्करी पर रोक लगा सकें। एनआईए के डीआईजी संतोष कुमार मीणा ने बताया कि संगठित अपराध रोकने के लिए अपराधियों की पहचान किया जाना अत्यंत आवश्यक है।

हरियाणा में संगठित हिंसक अपराध के बारे में एसपी स्पेशल टास्क फ़ोर्स वसीम अकरम ने बताया कि हरियाणा में वर्तमान में 80 आपराधिक गैंग सक्रिय हैं। इनमें से आठ बड़े गैंग ऐसे हैं जिनके द्वारा दिल्ली एनसीआर के क्षेत्र में फिरौती आदि की मांग की जाती है। सभी गैंग ने विदेशों में अपने पॉइंट ऑफ़ कांटेक्ट बना लिए है और वहीँ से बैठकर अपनी गैंग चला रहे है। इस दिशा में सभी राज्यों की पुलिस के संगठित प्रयास अत्यंत आवश्यक है। दुबई, पाकिस्तान, अर्मेनिआ, बैंकाक, थाईलैंड जैसे देशों से लेकर अमेरिका, पुर्तगाल और कनाडा में भी ये कुख्यात अपराधी छुपे हुए है जिनको वापस लाने के लिए पुलिस इंटरपोल के साथ संपर्क में है।

प्रदेश पुलिस द्वारा इनका जल्द ही डिपोर्टेशन करवा लिया जाएगा। बताया गया कि हरियाणा पुलिस द्वारा वर्तमान में 35 लुक आउट नोटिस जारी किये गए हैं, वहीं 22 पासपोर्ट रिवोक किये गए हैं।

बैठक में पंजाब पुलिस महानिदेशक गौरव यादव, हिमाचल पुलिस महानिदेशक डॉ अतुल वर्मा, चंडीगढ़ पुलिस महानिदेशक सुरेंदर सिंह यादव, पंजाब स्पेशल महानिदेशक कुलदीप सिंह, हरियाणा स्टेट नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो महानिदेशक ओपी सिंह, राजस्थान अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक एसओजी विजय कुमार सिंह, अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक एससीबी हरियाणा ममता सिंह, उत्तराखंड अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक कानून व्यवस्था डॉ वी मुरुगेसन, अतिरिक्त पुलिस आयुक्त दिल्ली पुलिस प्रमोद सिंह कुशवाहा शामिल हुए। इसके अतिरिक्त प्रदेश के एसटीएफ डीआईजी सिमरदीप सिंह, डीआईजी एससीबी अपराध हामिद अख्तर, एसपी एसटीएफ हरियाणा वसीम अकरम ने प्रदेश में स्पेशल टास्क फ़ोर्स के काम पर चर्चा की। इसके अतिरिक्त डिप्टी डायरेक्टर जनरल, एनसीबी संबित मिश्रा, आईजी एनआईए विजय सखारे, डीसीपी दिल्ली आदित्य गौतम शामिल रहे।

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(Udaipur Kiran) शर्मा

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