लखनऊ, 21 नवम्बर (Udaipur Kiran) । प्रदेश की आठ विद्युत इकाइयों को लो डिमांड के नाम पर बंद करने के मामले में उप्र राज्य विद्युत उपभोक्ता परिषद ने ऊर्जा मंत्री से हस्तक्षेप करने की मांग उठाई है। परिषद का कहना है कि इन इकाइयों को चालू कर गांवों को 24 घंटे बिजली मिलने का अधिकार पूरा किया जाए।
उपभोक्ता परिषद ने कहा कि उत्तर प्रदेश में कंज्यूमर राइट रूल 2020 की धारा 10 का खुला उल्लंघन कर ग्रामीण क्षेत्र में 6 घंटे बिजली कटौती की जा रही है। इस मामले में परिषद ने एनआरएलडीसी के एक्जीक्यूटिव डायरेक्टर से भी बात कर केंद्रीय ऊर्जा मंत्रालय को अवगत कराने का अनुरोध किया। परिषद ने कहा कि दो से तीन मिलियन यूनिट बिजली की आवश्यकता पर भी मशीन न चलाकर 15 से 20 लाख रुपये में बिजली खरीदी जा रही है।
परिषद का कहना है कि उत्तर प्रदेश में कंज्यूमर राइट रूल 2020 की धारा 10 के तहत सभी उपभोक्ताओं को 24 घंटे बिजली दी जानी है। इसका उल्लंघन करते हुए 6 घंटे बिजली कटौती ग्रामीण क्षेत्र में की जा रही है। उत्तर प्रदेश में जो आठ उत्पादन इकाइयां हैं वे ज्यादातर 15 नवंबर से लो डिमांड के चलते बंद की गई हैं, तत्काल उन्हें चालू करके ग्रामीण विद्युत उपभोक्ताओं की विद्युत आपूर्ति 24 घंटे दी जाए। पावर काॅरपोरेशन के उच्च अधिकारी दबी जुबान से कह रहे हैं कि गांव से राजस्व नहीं आता। इसलिए उन्हें 24 घंटे बिजली देना मुश्किल का काम है। इसलिए उत्तर प्रदेश सरकार को इसे जनहित का संवैधानिक मामला मानते हुए तत्काल हस्तक्षेप करना चाहिए।
उत्तर प्रदेश राज्य विद्युत उपभोक्ता परिषद के अध्यक्ष व राज्य सलाहकार समिति के सदस्य अवधेश कुमार वर्मा ने जहां दो दिन पहले विद्युत नियामक आयोग में जनहित प्रस्ताव दाखिल कर लो डिमांड में बंद सभी आठ मशीनों को चालू करने की मांग की गई थी। वहीं गुरुवार को नॉर्दर्न रीजन लोड डिस्पैच सेंटर (एनआरएलडीसी) के एग्जीक्यूटिव डायरेक्टर नबरून राय से भी बात करके उत्तर प्रदेश की स्थिति से अवगत कराते हुए यह निवेदन किया गया कि उत्तर प्रदेश में कंज्यूमर राइट रूल का उल्लंघन करके ग्रामीण क्षेत्र में 6 घंटे बिजली कटौती की जा रही है और 8 मशीन लो डिमांड में बंद रखी गई है। इसकी सूचना भारत सरकार को दी जानी चाहिए, क्योंकि एनआरएलडीसी का यह कर्तव्य है कि वह ग्रिड संतुलन बनाए रखने के साथ ही केंद्रीय ऊर्जा मंत्रालय को यूपी में बिजली कटौती की जानकारी दे।
उपभोक्ता परिषद के अध्यक्ष अवधेश कुमार वर्मा ने कहा कि पावर कॉरपोरेशन ने ग्रामीण क्षेत्र को 24 घंटे बिजली की आपूर्ति न की जाए, इसलिए आठ मशीनों को बंद कर रखा है, जिनकी कुल कैपेसिटी लगभग 1800 मेगावाट से ज्यादा है। पावर कॉरपोरेशनहर राेज पीक अवर्स में 2 से 3 मिलियन यूनिट पावर एक्सचेंज से 15 से 20 लाख रुपये में खरीद रहा है। वह अपनी लो डिमांड की एक मशीन को चलाकर भी इसकी भरपाई कर सकता है लेकिन उसका मानना है कि मशीन चलाकर ज्यादा बिजली उत्पादित हो जाएगी और उसे ग्रामीण क्षेत्र को देना पड़ेगा, उसमें ज्यादा नुकसान होगा।
(Udaipur Kiran) / उपेन्द्र नाथ राय