
जोधपुर, 07 जुलाई (Udaipur Kiran) । अध्याय मंच के बैनर तले डॉ. मदन सावित्री डागा साहित्य भवन में आयोजित साहित्यिक संध्या में जोधपुर शहर के युवा रचनाकारों ने उत्साहपूर्वक भाग लिया। इस अनूठे आयोजन में मौन को केंद्र में रखकर शब्दों की महत्ता और साहित्य की आत्मिक यात्रा पर गहन चर्चा हुई।
कार्यक्रम की शुरुआत युवा कवियों के काव्यपाठ से हुई, जिसमें सरिता माथुर, अनुपमा राठी, गीतिका जैन, डॉ. गीता व्यास, तन्वी जैन, हंसा वैष्णव, चंद्रभान बिश्नोई, सुरभि खींची, कुलदीप सिंह भाटी, स्वाति पुरोहित, अनामिका अनु, सत्येंद्र सिंह चारण, संतोक कुमार, सूरज सोनी, डॉ. खुशबू, दिनेश बोहरा और डॉ. पूजा राजपुरोहित सहित अनेक रचनाकारों ने अपनी कविताओं से दर्शकों को भावविभोर किया। कार्यक्रम के दूसरे सत्र में टीम अध्याय के अरमान जोधपुरी ने मुख्य अतिथि अयोध्या प्रसाद गौड़ का स्वागत किया।
चंचल चौधरी ने गौड़ के साहित्यिक योगदान से सभी को अवगत करवाया। अयोध्या प्रसाद गौड़ ने अपने वक्तव्य में कह कि शब्द ब्रह्म है और मौन भी एक भाषा है। लेखन आत्मखोज की प्रक्रिया है, और मौन में ही मस्तिष्क हज़ारों कहानियों की रचना करता है। उन्होंने बताया कि एआई (कृत्रिम बुद्धिमत्ता) एक सहायक उपकरण है, लेकिन मानवीय संवेदनाएं और मौलिकता अभी भी उसकी पहुंच से बाहर हैं।
साहित्यकारों को एआई को एक शोध साथी मानकर प्रयोग करना चाहिए। उन्होंने अपनी चर्चित कृति द रॉयल ब्लू और आगामी प्रोजेक्ट की भी चर्चा की। कार्यक्रम में डॉ. पद्मजा शर्मा, हरिप्रकाश राठी, दशरथ सोलंकी, संतोष चौधरी, मधुर परिहार, रामकिशोर फिड़ौदा सहित कई वरिष्ठ साहित्यकारों की उपस्थिति रही। अध्याय संस्थापक कल्याण विश्नोई ने सभी का धन्यवाद ज्ञापित किया।
(Udaipur Kiran) / सतीश
