
बालाघाट, 25 सितम्बर (Udaipur Kiran News) । मध्य प्रदेश के बालाघाट शहर के निजी महाविद्यालय सरदार पटेल में मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. परेश उपलप ने विश्वविद्यालय के कुलपति दिवाकर सिंह सहित अन्य विश्वविद्यालयीन स्टॉफ और छात्र-छात्राओं के साथ गुरुवार को विश्व फार्मसिस्ट दिवस मनाया। इस अवसर पर मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. उपलप ने कहा विश्व फार्मासिस्ट दिवस मनाने की शुरुवात तुर्की के इस्तांबुल शहर से हुई थी। यह दिवस पहली बार 2009 में इंटरनेशनल फार्मास्युटिकल फेडरेशन (FIP) की विश्व कांग्रेस में इस्तांबुल में मनाया गया था। इसी दिन 25 सितंबर को विश्व फार्मासिस्ट दिवस के रूप में मनाया जाता है क्योंकि इसी दिन 1912 में इंटरनेशनल फार्मास्युटिकल फेडरेशन (FIP) की स्थापना हुई थी। इसका उद्देश्य फार्मासिस्टों के योगदान को मान्यता देना और फार्मेसी क्षेत्र को प्रोत्साहित करना है।
उन्होंने बताया कि विश्व फार्मासिस्ट दिवस हर वर्ष 25 सितंबर को मनाया जाता है। यह दिन फार्मासिस्टों की भूमिका, उनके योगदान और उनके द्वारा प्रदान की जाने वाली स्वास्थ्य सेवा को सम्मानित करने के लिए आयोजित किया जाता है। फार्मासिस्ट स्वास्थ्य सेवा क्षेत्र के महत्वपूर्ण स्तंभ हैं, जो दवाओं की सुरक्षा, प्रभावशीलता और उचित उपयोग सुनिश्चित करते हैं।फार्मासिस्ट रोगियों को दवा की सही जानकारी देते हैं, दवाओं के दुष्प्रभावों और पारस्परिक क्रियाओं के बारे में जागरूक करते हैं तथा डॉक्टरों और नर्सों के साथ मिलकर बेहतर इलाज सुनिश्चित करते हैं। वे न केवल दवाएं वितरित करते हैं बल्कि दवा प्रबंधन, रोग निवारण और स्वास्थ्य संरक्षण में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
डॉ उपलप ने कहा कि आज के समय में, जहां स्वास्थ्य समस्याएं बढ़ती जा रही हैं, फार्मासिस्टों का स्थान और भी महत्वपूर्ण हो गया है। वे कोविड-19 महामारी के दौरान भी जागरूकता फैलाने, टीकाकरण में सहयोग देने और दवा की उपलब्धता सुनिश्चित करने में अग्रणी रहे हैं। इसके अलावा, फार्मासिस्ट दवा नीतियों के निर्माण, शोध और विकास में भी योगदान देते हैं जो स्वास्थ्य सेवा की गुणवत्ता को बढ़ावा देते हैं।विश्व फार्मासिस्ट दिवस का उद्देश्य जनता को फार्मासिस्टों की भूमिका से परिचित कराना और उन्हें स्वास्थ्य सेवा में शामिल करने के लिए प्रोत्साहित करना है। यह दिन यह भी याद दिलाता है कि निरोगी और स्वस्थ जीवन के लिए दवाओं का सही और सुरक्षित उपयोग कितना आवश्यक है।
उन्होंने कहा कि विश्व फार्मासिस्ट दिवस केवल एक उपलक्ष्य नहीं, बल्कि एक अवसर है जहां हम फार्मासिस्टों के प्रयासों को सराहते हुए, बेहतर स्वास्थ्य सेवा के लिए उनके सहयोग को और मजबूत कर सकते हैं। हमें इस दिन को गर्व और सम्मान के साथ मनाना चाहिए तथा अपने स्वास्थ्य का ख्याल रखने में फार्मासिस्टों की भूमिका को समझना चाहिए। इस प्रकार, फार्मासिस्ट स्वास्थ्य सेवाओं के अभिन्न अंग हैं, जिनके बिना समाज में स्वस्थ और सशक्त जीवन की कल्पना असंभव है।
(Udaipur Kiran) तोमर
