

गांधीनगर, 14 अगस्त (Udaipur Kiran) । गुजरात के सोमनाथ में कॉरिडोर का विरोध अब भी जारी है। प्रभावित संपत्ति धारक महिलाओं ने गुरुवार को प्रभास पाटन में अपनी-अपनी गलियों में धरना प्रदर्शन कर नारेबाजी की। उन्होंने कहा कि हमें किसी भी कीमत पर कॉरिडोर नहीं चाहिए। उनका कहना था कि सोमनाथ मंदिर के पास काफी विशाल जमीन है, उसमें कॉरिडोर बनाया जाए या सोमनाथ ट्रस्ट के मंदिर की खाली पड़ी जमीन पर उनको वहां मकान बनाकर दें, लेकिन कॉरिडोर के लिए हमें यहां से न हटाया जाए।
महिलाओं और अतिथि गृह संचालकों ने अपनी पीड़ा और संभावित बेघर होने की आशंका को आज मीडिया के सामने व्यक्त किया और कॉरिडोर नही बनाए जाने की मांग दोहराई। इस दौरान आज भी कॉरिडोर से जुड़ी प्रशासनिक कार्यवाही के लिए जिला प्रशासन की 8 से 10 अधिकारियों की टीम ने प्रभास पाटन का दौरा किया और उन्होंने इसको लेकर सौंपे गए कार्यों को अंजाम दिया।
जबकि दूसरी ओर पूर्व सांसद दिनुभाई सोलंकी ने सोमनाथ कॉरिडोर को लेकर आंदोलन कर रहे नेताओं पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उन्होंने कहा कि सोमनाथ बंद का ऐलान करने वाले नेताओं को अब क्यों सनातन याद आया, जब गरीब लोगों की झोपड़ियां टूटी थीं तब वे क्यों नहीं बोले? स्थानीय नेताओं के होटल और दुकानें टूटने वाली हैं, इसी वजह से वे अपनी संपत्ति बचाने और नेतागिरी बचाने के लिए आंदोलन कर रहे हैं। पूर्व कलेक्टर दिग्विजयसिंह जाडेजा और वर्तमान आरडीसी राजेश आल के साथ मिलकर सनातन की बातें करने वाले स्थानीय नेताओं को अब सनातन याद आ रहा है। सोमपुरा ब्रह्म समाज के अध्यक्ष हेमल भट्ट और रबारी समाज के अग्रणी बाला शामला पर भी दिनु सोलंकी ने हमला बोला और कहा कि सोमनाथ कॉरिडोर के समर्थन में हम कोडीनार बंद रखेंगे और 5 हज़ार युवक पदयात्रा कर सोमनाथ आकर कॉरिडोर का समर्थन करेंगे।
गौरतलब है कि सोमनाथ मंदिर के विकास के लिए कॉरिडोर बनाया जा रहा है। इसके लिए मंदिर के आसपास की 384 संपत्तियों के अधिग्रहण की कार्रवाई की जा चुकी है। जिसका स्थानीय लोग विरोध कर रहे हैं।
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(Udaipur Kiran) / Abhishek Barad
