Jammu & Kashmir

रजनगर बुढाल में जंगली सुअरों ने मकई की फसल तबाह की, किसानों में संकट

जम्मू,, 22 सितंबर (Udaipur Kiran News) ।

रजनगर बुढाल के किसानों को जंगली सुअरों की बढ़ती गतिविधियों से गंभीर संकट का सामना करना पड़ रहा है। जंगली सूअर खेतों में घुसकर खड़ी मकई की फसल को नष्ट कर रहे हैं, जिससे ग्रामीण असहाय और परेशान हैं। यह क्षेत्र मुख्य रूप से मकई की फसल पर निर्भर है और अब पारिस्थितिक असंतुलन के कारण जंगली सुअरों की संख्या अचानक बढ़ गई है।

स्थानीय निवासियों के अनुसार, ये जंगली सूअर रात और सुबह जल्दी खेतों में प्रवेश कर फसलों को नष्ट कर रहे हैं और महीनों की मेहनत बर्बाद कर रहे हैं। प्रभावी नियंत्रण के अभाव में स्थिति ग्रामीणों के नियंत्रण से बाहर हो गई है।

एक स्थानीय किसान ने कहा, हमारी पूरी आजीविका इस मौसम पर निर्भर है। हम मकई उगाते हैं, जो अधिकतर परिवारों का मुख्य आय स्रोत है। ये जानवर सब कुछ बर्बाद कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि अधिकारियों को शिकायतें दी गई हैं, लेकिन अब तक कोई ठोस कदम नहीं उठाए गए हैं।

स्थानीय नेता और आदिवासी समुदाय भी सरकार की कार्रवाई न होने पर चिंता व्यक्त कर रहे हैं और तुरंत हस्तक्षेप की मांग कर रहे हैं। वे चेतावनी देते हैं कि यदि इस समस्या को तुरंत नहीं सुलझाया गया, तो यह ग्रामीण आबादी के लिए गंभीर खाद्य असुरक्षा और आर्थिक संकट का कारण बन सकता है।

स्थानीय लोग कहते हैं कि जंगली सुअरों की अत्यधिक संख्या पारिस्थितिक असंतुलन और प्राकृतिक शिकारी की कमी का परिणाम है। वन्यजीव और कृषि विभागों से आग्रह किया गया है कि वे सहयोग करके स्थायी प्रबंधन योजना बनाएं, जिसमें नसबंदी कार्यक्रम, नियंत्रित शिकार (वन्यजीव कानूनों के अनुसार), बाड़ लगाने या पुनर्स्थापन रणनीतियों को शामिल किया जा सकता है।

जब तक ऐसे उपाय नहीं किए जाते, रजनगर बुढाल के किसान प्रकृति की अनियंत्रित शक्ति के आगे अपनी फसलों और आशाओं को बर्बाद होते देख रहे हैं।

—————

(Udaipur Kiran) / अश्वनी गुप्ता

Most Popular

To Top