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(अपडेट) काशी में गंगा स्नान के बाद मैं शाकाहारी बन गया :उपराष्ट्रपति सी. पी. राधाकृष्णन

नाट्टूकोट्टई धर्मशाला के लोकार्पण समारोह में उपराष्ट्रपति
उपराष्ट्रपति

—उपराष्ट्रपति ने वाराणसी में 10 मंजिला नाट्टूकोट्टई धर्मशाला का किया लोकार्पण

वाराणसी, 31 अक्टूबर (Udaipur Kiran) । देश के उपराष्ट्रपति सी. पी. राधाकृष्णन ने शुक्रवार शाम वाराणसी में श्री काशी नाट्टूकोट्टई नगर क्षेत्रम मैनेजिंग सोसाइटी द्वारा निर्मित 10 मंजिला नाट्टूकोट्टई धर्मशाला का लोकार्पण उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ संयुक्त रूप से किया।धर्मशाला के लोकार्पण समारोह में उपराष्ट्रपति राधाकृष्णन ने कहा कि उन्हें इस इमारत के उद्घाटन का अवसर पाकर प्रसन्नता हो रही है। उन्होंने बताया कि 25 वर्ष पहले जब वे पहली बार काशी आए थे, तब मांसाहारी थे, लेकिन गंगा में स्नान करने के बाद उन्होंने शाकाहारी जीवन अपना लिया। उन्होंने कहा, “धर्म को कुछ समय के लिए संकट अवश्य आता है, परंतु वह स्थायी नहीं होता। यह इमारत इस बात की साक्षी है कि तमाम संकटों के बावजूद अंततः धर्म की ही विजय होती है।”कार्यक्रम में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने उपराष्ट्रपति का स्वागत करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में काशी निरंतर विकास के नए आयाम स्थापित कर रही है। उन्होंने बताया कि श्री काशी विश्वनाथ धाम के लोकार्पण के बाद देश और विदेश से आने वाले श्रद्धालुओं की संख्या में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है, जिनमें दक्षिण भारत और विशेषकर तमिलनाडु के श्रद्धालु बड़ी संख्या में शामिल हैं।मुख्यमंत्री ने कहा कि भगवान श्रीराम द्वारा रामेश्वरम् धाम में स्थापित पावन ज्योतिर्लिंग और काशी में विराजमान भगवान आदि विश्वेश्वर एक-दूसरे के पूरक हैं और दोनों ही भगवान शिव के दिव्य स्वरूप हैं। उन्होंने बताया कि काशी को अब तक 51 हजार करोड़ रुपये से अधिक की परियोजनाओं का तोहफा मिल चुका है, जिनमें से 36 हजार करोड़ रुपये की परियोजनाएं पूरी की जा चुकी हैं। मुख्यमंत्री योगी ने कहा, “अब काशी में भक्ति के साथ-साथ विकास भी है। इससे पूर्व मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बाबतपुर स्थित लाल बहादुर शास्त्री अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर उपराष्ट्रपति का फूलों के गुलदस्ते से स्वागत किया।उल्लेखनीय है कि तमिलनाडु के नागरथर समुदाय के दान से निर्मित यह धर्मशाला पूर्वांचल की सबसे बड़ी धर्मशालाओं में गिनी जा रही है। लगभग 60 करोड़ रुपये की लागत से बनी इस इमारत में 140 एसी कमरे बनाए गए हैं, जिनमें प्रत्येक कमरे में तीन श्रद्धालुओं के ठहरने की व्यवस्था है। श्रद्धालुओं के लिए आधुनिक सुविधाओं से युक्त सुइट रूम भी उपलब्ध होंगे। परिसर में 174 कारों की पार्किंग की सुविधा भी विकसित की गई है।गौरतलब है कि नाट्टूकोट्टई नगर क्षेत्रम पिछले 240 वर्षों से श्री काशी विश्वनाथ मंदिर में प्रतिदिन मंगला, भोग और शृंगार आरती के लिए सामग्री भेजता आ रहा है।

(Udaipur Kiran) / श्रीधर त्रिपाठी

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