
पूर्वी चंपारण,19 सितंबर (Udaipur Kiran) । स्वापक औषधि और मन: प्रभावी पदार्थ अधिनियम कोर्ट प्रथम के विशेष न्यायाधीश रेशमा वर्मा ने चरस तस्करी एवं हिरण सींग बरामदगी मामले में दोषी पाते हुए नामजद दो अभियुक्तों को बारह बारह वर्षों का सश्रम कारावास एवं एक को तीन लाख रुपए तथा दूसरे अभियुक्त को तीन लाख पंद्रह हजार रुपए अर्थ दंड की सजा सुनायी है। अर्थ दंड नहीं देने पर छह माह की अतिरिक्त सजा काटनी होगी। सजा रक्सौल थाना के रक्सौल मौजे वार्ड नंबर 14 निवासी ईश्वरी प्रसाद के पुत्र उमेश साह तथा इलायगुंडी 36 साउथ इंक्लेव शिवगंगा तमिलनाडु निवासी नानगुर गन्नी कमाल के पुत्र इमथियास उर्फ अन्ना को हुई।
मामले में सुगौली के तत्कालीन थानाध्यक्ष अखिलेश कुमार मिश्र ने थाना कांड संख्या 208/2022 दर्ज कराते हुए दोनों को नामजद किया था। जिसमें कहा था कि 2 मई 2022 को गुप्त सूचना पर करीब 11 बजे दिन में थाना चौक के निकट कसाब टोला पुल के पास वाहन जांच की जा रही थी। उसी दौरान रक्सौल की ओर से एक काले रंग के अपाची बाइक पर दो युवक पीठ पर बैग लटकाए हुए आए। वे लोग वाहन जांच देखकर बाइक घुमाकर भागने लगे, परंतु पुलिस बल ने धर दबोचा। जांच के दौरान दोनों के बैग से दस पॉकेट में 9.646 किलो चरस बरामद हुआ।
वहीं अन्ना के बैग से हिरण सींग भी बरामद हुई। एनडीपीएस वाद संख्या 33/2022 विचारण के दौरान विशेष लोक अभियोजक डॉ. शंभू शरण सिंह ने आठ गवाहों का न्यायालय में प्रस्तुत किया। न्यायाधीश ने धारा 20(बी)ii (सी),23(सी) एनडीपीएस एवं 51 वन्य जीव संरक्षण अधिनियम के तहत दोषी पाते हुए उक्त सजा सुनायी है। कारागार में बिताए अवधि का समायोजन सजा की अवधि में होगी।
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(Udaipur Kiran) / आनंद कुमार
