
बांकुड़ा, 27 जुलाई (Udaipur Kiran) । राज्य के चिकित्सा शिक्षण संस्थानों में ‘थ्रेट कल्चर’ को लेकर एक बार फिर गंभीर आरोप सामने आए हैं। यह कोई नई स्थिति नहीं है, बल्कि आर. जी. कर मेडिकल कॉलेज में पूर्व में हुए जूनियर चिकित्सकों के आंदोलन के दौरान भी इस प्रकार की शिकायतें उजागर हुई थीं। एक वर्ष से अधिक समय बीतने के बाद भी इस प्रकार की संस्कृति के विरुद्ध उठती आवाजें थमी नहीं हैं।
नवीनतम प्रकरण में, बांकुड़ा सम्मिलनी मेडिकल कॉलेज के विभागाध्यक्ष के विरुद्ध जूनियर चिकित्सकों ने गंभीर आरोप लगाए हैं। चिकित्सकों का कहना है कि संबंधित विभागाध्यक्ष अभिजीत मंडल नियमित रूप से चिकित्सीय सेवा से अनुपस्थित रहते हैं और छात्रों को निरंतर मानसिक दबाव तथा धमकी देते हैं।
आरोपों के अनुसार, विद्यार्थियों को कम अंक देने तथा उनके पूरे शैक्षणिक भविष्य को नष्ट करने की चेतावनी तक दी गई है। मामले की गंभीरता को देखते हुए जब इस संबंध में स्वास्थ्य भवन से शिकायत की गई, तब प्रशासन द्वारा कॉलेज प्रबंधन को एक जांच समिति गठित करने का निर्देश दिया गया।
कॉलेज प्रशासन ने त्वरित कार्रवाई करते हुए सात सदस्यों की एक जांच समिति का गठन किया है, जो आरोपों की निष्पक्ष जांच करेगी।
विरोध प्रकट करते हुए शनिवार संध्या से जूनियर चिकित्सकों ने विभागाध्यक्ष के इस्तीफे की मांग को लेकर आंदोलन आरंभ कर दिया। आंदोलनकारी एक चिकित्सक ने कहा कि प्राचार्य ने सोमवार तक उचित कार्रवाई का आश्वासन दिया है। हमें अपेक्षा है कि जांच में शीघ्र प्रगति होगी। विभागाध्यक्ष के व्यवहार को लेकर हम अत्यंत चिंतित हैं।
दूसरी ओर, कॉलेज के प्राचार्य डॉ. पंचानन कुंडु ने स्पष्ट किया कि हम पूर्व में ही शिकायत प्राप्त कर चुके हैं। जांच प्रक्रिया प्रगति पर है और शीघ्र ही रिपोर्ट प्रस्तुत की जाएगी। ‘थ्रेट कल्चर’ जैसे मामलों को लेकर संस्थान प्रारंभ से ही गंभीर रहा है।
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(Udaipur Kiran) / धनंजय पाण्डेय
