Jharkhand

खुदकुशी को रोकने के लिए खुलकर बात करें

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बोकारो, 10 सितंबर (Udaipur Kiran) । विश्व आत्महत्या रोकथाम दिवस के अवसर पर बुधवार को बोकारो में एक जागरूकता रैली का आयोजन किया गया। रैली की शुरुआत सिविल सर्जन कार्यालय, कैंप टू से हुई, जो समाहरणालय परिसर होते हुए चास चेक पोस्ट तक गई और पुनः सिविल सर्जन कार्यालय में समाप्त हुई।

इस रैली को सिविल सर्जन डॉ. अभय भूषण प्रसाद ने हरी झंडी दिखाकर रवाना किया। उन्होंने बताया कि युवाओं में खुदकुशी, सड़क दुर्घटनाओं के बाद, मृत्यु का दूसरा प्रमुख कारण बन चुका है। यह एक मिथक है कि खुदकुशी नहीं रोकी जा सकतीं। अगर हम खुलकर अपनी समस्याएं साझा करें और संवाद कायम रखें, तो खुदकुशी की रोकथाम संभव है, उन्होंने कहा।

कार्यक्रम में उपाधीक्षक सदर अस्पताल डॉ. एन.पी. सिंह, जिला कार्यक्रम प्रबंधक रवि शंकर, डीपीसी आशीष डीन, जिला लेखा प्रबंधक कंचन, और तंबाकू नियंत्रण कार्यक्रम के मो. असलम सहित कई अधिकारी उपस्थित थे।

बच्चों की बातों को गंभीरता से सुनें: मनोचिकित्सक

सदर अस्पताल के मनोचिकित्सक डॉ. प्रशांत कुमार मिश्रा ने खुदकुशी की चेतावनी संकेतों की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि यदि कोई व्यक्ति यह कहे कि वह बोझ बन चुका है, उसे जीने की इच्छा नहीं है, वह अपनी पसंदीदा चीजें दूसरों को देने लगे, या फिर अत्यधिक चिड़चिड़ापन, चिंता और अवसाद में दिखे—तो ये सभी खुदकुशी के संभावित संकेत हो सकते हैं।ऐसे मामलों में परिजनों को सतर्क होकर व्यक्ति की बातों को ध्यानपूर्वक सुनना चाहिए और अपनापन भरा व्यवहार करना चाहिए, उन्होंने कहा। साथ ही उन्होंने बताया कि वर्ष 2025-26 में अब तक 23 लोगों को खुदकुशी

रोकथाम के लिए परामर्शी सेवाएं दी गई हैं, जिनमें से 6 मामलों में आशातीत सुधार देखा गया, जबकि 1 व्यक्ति को रेफर किया गया।

डॉ. मिश्रा ने लोगों से अपील की कि वे जरूरत पड़ने पर सदर अस्पताल के 8 नंबर ओपीडी में परामर्श लें या टेलीमानस हेल्पलाइन 14416 पर कॉल करें। कार्यक्रम में मुकेश कुमार, आरती कुमारी, मिश्रा छोटेलाल दास, असीम कुमार एवं शहरी सहिया भी उपस्थित रहे।

(Udaipur Kiran) / अनिल कुमार

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