कोलकाता, 14 सितंबर (Udaipur Kiran) । पश्चिम बंगाल स्कूल सर्विस कमीशन (एसएससी) की दूसरी चरण की परीक्षा रविवार को निष्पक्षता और पारदर्शिता के साथ पूरी हुई। परीक्षा समाप्त होने के बाद शिक्षा मंत्री ब्रत्य बसु ने पत्रकारों से बातचीत में यह जानकारी दी।
उन्होंने बताया कि पारदर्शिता बनाए रखने के लिए इस बार आयोग ने कई नई पद्धतियाँ अपनाई हैं। परीक्षा की मॉडल उत्तरपुस्तिका 20 सितंबर तक आयोग की वेबसाइट पर अपलोड की जाएगी, जिसे दो वर्षों तक सुरक्षित रखा जाएगा। परीक्षार्थियों को किसी भी तरह की आपत्ति दर्ज करने के लिए पांच दिन का समय मिलेगा। इसके बाद निर्धारित समय पर परिणाम प्रकाशित होंगे और यह घोषित किया जाएगा कि कौन इंटरव्यू के लिए योग्य हैं। आयोग के चेयरमैन ने बताया कि नवंबर से इंटरव्यू शुरू होगा और 31 दिसंबर तक नियुक्ति प्रक्रिया पूरी हो जाएगी।
ब्रात्य बसु ने जानकारी दी कि 7 सितंबर को हुई परीक्षा में 31,362 परीक्षार्थी अन्य राज्यों से शामिल हुए थे, जबकि 14 सितंबर की परीक्षा में 13,517 परीक्षार्थी उत्तर प्रदेश, बिहार जैसे राज्यों से आए। कुल मिलाकर रविवार की परीक्षा में 2.46 लाख से अधिक अभ्यर्थी शामिल हुए, जो कि कुल आवेदनकर्ताओं का 93% है। मंत्री ने कहा कि पूरी परीक्षा निष्पक्ष तरीके से हुई और इस बार उत्तरपुस्तिकाओं के स्कैन किए गए इमेज 10 साल तक सुरक्षित रखे जाएंगे।
सूत्रों के अनुसार, कक्षा 11-12 में हिंदी भाषा के शिक्षकों के लिए 370 रिक्त पद हैं। इन्हीं पदों को ध्यान में रखते हुए अन्य राज्यों से बड़ी संख्या में उम्मीदवार परीक्षा में बैठे। नवंबर में इंटरव्यू होने के बाद योग्य उम्मीदवारों की सूची प्रकाशित की जाएगी और दिसंबर तक नियुक्ति पूरी करने का लक्ष्य है।
उल्लेखनीय है कि 2016 की शिक्षक भर्ती पैनल को सुप्रीम कोर्ट ने रद्द कर दिया था, जिसके बाद नई प्रक्रिया शुरू की गई है। सात और 14 सितंबर को आयोजित परीक्षाएं इसी प्रक्रिया का हिस्सा हैं। अब अभ्यर्थी पारदर्शिता के साथ तेज़ी से नियुक्ति पूरी होने का इंतजार कर रहे हैं, ताकि संस्थागत भ्रष्टाचार का दाग हटाया जा सके।
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(Udaipur Kiran) / धनंजय पाण्डेय
