
मंडी, 07 जुलाई (Udaipur Kiran) । 30 जून की रात को ब्यास नदी में आए सैलाब में फसे 12 लोगों की जान बचाने वाले सदर थाना प्रभारी इंस्पैक्टर देशराज को उनकी हिम्मत और शौर्य के लिए रोटरी क्लब द्वारा सम्मानित किया गया। खुद बीमार होने के बावजूद भी प्रभारी ने ब्यास नदी में फंसे इन लोगों में तीन कुष्ठ रोगियों सहित पांच परिवारों को जीवनदान दिया है।
थाना प्रभारी ने बुजुर्गों को पीठ पर उठाकर नदी के बीच में से निकालकर सुरक्षित स्थान तक पंहुचाया। देश राज के इस अदम्य साहस ने जहां पुलिस की छवी को सुधारा है। वहीं देशभर में लोगों के दिलों में जगह बनाई है। अब लोग देश राज को राष्ट्रपति से सर्वोतम जीवन रक्षापदक देने की मांग कर रहे हैं। प्रभावित लोगों ने भी उपायुक्त मंडी, पुलिस अधीक्षक मंडी, पुलिस उप महानिरीक्षक, पुलिस महानिदेशक शिमला और प्रदेश के मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर यह सम्मान इंस्पैक्टर देशराज को देने की मांग की है। इस पत्र में सभी प्रभावित 12 लोगों के हस्ताक्षर हैं।
प्रभावित विनोद कुमार, पुत्र प्रेम सिंह, गांव रघुनाथ का पधर, डाकघर बाड़ी गुमाणु, तहसील सदर, जिला मंडी ने बताया कि 30 जून की रात उनके लिए अंतिम रात थी, यदि देशराज अपनी टीम के साथ उन्हें बचाने के लिए नहीं पहुंचे होते। सभी विभागों को फोन किए लेकिन सड़क बंद होने के चलते कोई भी मौके पर नहीं पहुंचा। पुलिस की टीम पैदल उन्हें बचाने के लिए घटना स्थल पर पंहुची। देश राज ने खुद हो केबल तार से बांधा और टीम को तार पकड़ा दी। जबकि इसमें उनकी भी जान जा सकती थी। पहले उन्होंने दो साल की छोटी बच्ची को बचाया फिर अन्य लोगों को बाहर निकाला। वार्ड पार्षद सुमन ठाकुर ने कहा कि जब कोई मदद के लिए आगे नहीं आ रहा था, तो देशराज भगवान बनकर मेरे वार्ड के लोगों के लिए आए और उन्हें जीवनदान दिया।
सुमन ने कहा कि इंस्पैक्टर देश राज के इन अदम्य साहस के लिए उन्हें सर्वोत्तम जीवन रक्षक पदक से सम्मानित किया जाना चााहिए। निगम भी इसके लिए राष्ट्रपति को पत्र लिखेगा। यदि देशराज टीम के साथ मौके पर नहीं पंहुचते तो 12 लोगों की लाशें मिलती, क्योंकि जल स्तर बढ़ गया था। जिसके कारण लोगों के घर तक बह गए हैं।
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(Udaipur Kiran) / मुरारी शर्मा
