Madhya Pradesh

मान्यता प्राप्त राष्ट्रीय राजनीतिक दल बीएलए की अनिवार्य रूप से करें नियुक्ति: मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी

मान्यता प्राप्त राष्ट्रीय राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों के साथ निर्वाचन सदन भोपाल में बैठक

– मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी ने राजनीतिक दलों को मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण 2025 के बारे में दी जानकारी

भोपाल, 28 अक्टूबर (Udaipur Kiran) । मध्य प्रदेश के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी संजीव कुमार झा ने मंगलवार को मान्यता प्राप्त राष्ट्रीय राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों के साथ निर्वाचन सदन भोपाल में बैठक की। इस दौरान उन्होंने मान्यता प्राप्त राष्ट्रीय राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों को मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण 2025 की प्रक्रिया के बारे में अवगत कराया। उन्होंने सभी मान्यता प्राप्त राष्ट्रीय राजनीतिक दलों से बीएलए की अनिवार्य रूप से नियुक्ति करने का आग्रह किया।

मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी झा ने कहा कि भारत निर्वाचन आयोग ने दूसरे चरण की एसआईआर की तारीखों की घोषणा कर दी है। इसमें मध्य प्रदेश भी शामिल हैं। प्रदेश में एसआईआर की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है। सभी मान्यता प्राप्त राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों से उन्होंने आग्रह किया है कि वे अनिवार्य रूप से बीएलए की नियुक्त कर दें। उन्होंने कहा कि प्रदेश में मतदाता सूची का विशेष गहन पुनरीक्षण शुरू होते ही मतदाता सूची फ्रीज कर दी गई है। भारत निर्वाचन आयोग की वेबसाइट वोटर्स.डॉट.ईसीआई.इन पर जाकर 2003 की मतदाता सूची को देखा जा सकता है। इसके अलावा मतदाता सूची मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी की वेबसाइट पर भी उपलब्ध है। विशेष गहन पुनरीक्षण के दौरान तीन बार बीएलओ घर घर जाकर सर्वे करेगा।

उन्होंने कहा कि मतदाता सूची में नाम जुड़वाने के लिए फॉर्म 6, हटवाने के लिए फॉर्म 7 और सुधार या संशोधन के लिए मतदाता को फॉर्म 8 भरना होगा। मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी श्री झा ने बताया कि एन्यूमरेशन फार्म भरने में यदि कोई व्यक्ति मिथ्या घोषणा करता है तो जुर्माने या कारावास के लिए दंडनीय होगा। बैठक के दौरान संयुक्त मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी राम प्रताप सिंह जादौन, उप मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी संजय श्रीवास्तव, सुरभि तिवारी और राजेश यादव सहित कांग्रेस पार्टी से जेपी धनोपिया, भाजपा से भगवानदास सबनानी एवं एसएस उप्पल, आम आदमी पार्टी से सुमित चौहान उपस्थित रहे।

28 अक्टूबर से 7 फरवरी 2026 तक चलेगी प्रक्रिया

मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी संजीव कुमार झा ने बताया कि एसआईआर की प्रक्रिया 28 अक्टूबर से शुरू होकर 8 फरवरी 2026 तक चलेगी। इस बीच 28 से 3 नवंबर तक बीएलओ को ट्रेनिंग दी जाएगी। बीएलओ द्वारा 4 नवंबर से 4 दिसंबर तक घर घर जाकर सर्वे किया जाएगा। मतदाता सूची के प्रारूप का प्रकाशन 9 दिसंबर को किया जाएगा। दावा आपत्तियों के आवेदन 9 दिसंबर से 9 जनवरी 2026 तक लिए जाएंगे। दस्तावेजों का सत्यापन 9 दिसंबर से 31 जनवरी 2026 तक किया जाएगा। इसके बाद 7 फरवरी 2026 को फाइनल मतदाता सूची का प्रकाशन होगा।

एसआईआर के दौरान लगने वाले सांकेतिक दस्तावेज (सम्पूर्ण नहीं)

– केंद्रीय / राज्य सरकार / सार्वजनिक उपक्रम द्वारा नियमित कर्मचारी / पेंशनर को जारी पहचान पत्र / पेंशन भुगतान आदेश

– भारत में किसी सरकारी / स्थानीय निकाय / बैंक / डाकघर / एलआईसी / सार्वजनिक उपक्रम द्वारा 01.07.1987 से पूर्व जारी कोई पहचान पत्र / प्रमाण-पत्र / दस्तावेज़

– सक्षम प्राधिकारी द्वारा जारी जन्म प्रमाण-पत्र

– पासपोर्ट

– किसी मान्यता प्राप्त बोर्ड / विश्वविद्यालय द्वारा जारी मैट्रिक/शैक्षणिक प्रमाण-पत्र

– सक्षम राज्य प्राधिकारी द्वारा जारी स्थायी निवास प्रमाण-पत्र

– वन अधिकार प्रमाण-पत्र

– सक्षम प्राधिकारी द्वारा जारी ओबीसी/एससी/एसटी या अन्य जाति प्रमाण-पत्र।

– राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (जहाँ उपलब्ध हो)

– राज्य/स्थानीय निकाय द्वारा तैयार पारिवारिक रजिस्टर

– सरकार द्वारा जारी भूमि / मकान आवंटन प्रमाण-पत्र

– आधार के लिए, आयोग के पत्र संख्या 23/2025-ERS/Vol.II दिनांक 09.09.2025 (अनुलग्नक II) द्वारा जारी निर्देश लागू होंगे।

(Udaipur Kiran) तोमर

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