

गुवाहाटी, 1 अक्टूबर (Udaipur Kiran News) । शारदीय दुर्गोत्सव का उत्सवमय माहौल इस बार मौसम की प्रतिकूलता से कुछ हद तक फीका पड़ गया। पूजा से कुछ दिन पहले से ही प्रचंड गर्मी ने आम लोगों को बेहाल कर दिया था। अधिक तापमान के कारण कई दर्शक पूजा पंडालों में आकर अस्वस्थ हो गए, यहां तक कि देवी के सामने अंजलि देना और पूजा संपन्न करना भी कठिन हो गया।
अष्टमी की शाम के बाद से ही स्थिति और गंभीर हो गई। असम के सिलचर और आसपास के विभिन्न इलाकों में तेज तूफ़ान आया। उस तूफ़ान में कई पूजा पंडालों को भारी नुकसान पहुंचा, कहीं-कहीं तो पंडाल पूरी तरह गिर भी गए। अचानक आई इस विपत्ति से पूजा का माहौल उदासी से भर गया।
नवमी के दिन सुबह से ही गुवाहाटी और आसपास के इलाकों में लगातार बारिश शुरू हो गई। कई दिनों से जारी प्रचंड गर्मी के बाद यह बारिश भले ही थोड़ी राहत लेकर आई, लेकिन पूजा के उमंग में बड़ी बाधा भी बनी। शहर की सड़कों और विभिन्न मंडप क्षेत्रों में जलजमाव की स्थिति बन गई। हालांकि, सौभाग्य की बात यह रही कि कोई बड़ी क्षति नहीं हुई।
इस प्रकार, इस बार की नवमी में बारिश और तूफ़ान ने पूजा की खुशी को कुछ हद तक धूमिल कर दिया, लेकिन श्रद्धालुओं का उत्साह पूरी तरह बुझा नहीं। मां दुर्गा की आराधना में भक्तों की भक्ति और आस्था अब भी उतनी ही प्रखर बनी हुई है।
(Udaipur Kiran) / देबजानी पतिकर
