कोलकाता, 13 सितम्बर (Udaipur Kiran) ।
पश्चिम बंगाल में जैसे-जैसे विधानसभा चुनाव नजदीक आ रहे हैं, राजनीतिक हलचल तेज होती जा रही है। कूचबिहार जिला तृणमूल कांग्रेस नेतृत्व ने दुर्गापूजा को जनता से जुड़ने का जरिया बनाने की रणनीति बनाई है। इस बार राज्य सरकार की ओर से हर क्लब को एक लाख 10 हजार रुपये की सहायता दी गई है। इसके अलावा, कूचबिहार जिले के कई क्लबों को अलग से चंदा देने की योजना भी बनाई गई है।
जानकारी के अनुसार, कूचबिहार दक्षिण विधानसभा क्षेत्र के कम से कम 200 क्लबों को पार्टी की ओर से ‘सहायता’ दी जाएगी। पार्टी सूत्रों का कहना है कि इन क्लबों के सहयोग से शासक दल न केवल दुर्गापूजा के मौके पर शोभायात्रा आयोजित करेगा, बल्कि आगमनी उत्सव के जरिए भी कार्यकर्ताओं और जनता को जोड़ने की कोशिश होगी।
राजनीतिक जानकार मानते हैं कि पिछले विधानसभा चुनाव में इस सीट पर तृणमूल और भाजपा के बीच कड़ा मुकाबला हुआ था और अंत में भाजपा उम्मीदवार ने जीत दर्ज की थी। इस बार तृणमूल इस सीट पर कब्जा करने के लिए पूरी ताकत झोंक रही है। इसी वजह से सामाजिक और सांस्कृतिक आयोजनों के जरिये लोगों तक पहुंच बढ़ाने की पहल की जा रही है।
तृणमूल कांग्रेस ने 16 सितम्बर को कूचबिहार शहर में मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को धन्यवाद देते हुए एक शोभायात्रा निकालने की योजना बनाई है। इस कार्यक्रम के बाद क्लबों को चंदा दिया जाएगा। इसके लिए हर क्लब से अपने-अपने बैनर लाने को कहा गया है। वहीं पार्टी के क्षेत्रीय अध्यक्षों और बूथ स्तर के नेताओं को क्लब प्रबंधन समितियों से संपर्क साधकर सूची तैयार करने का जिम्मा सौंपा गया है।
इससे पहले, शनिवार को कूचबिहार के उत्सव ऑडिटोरियम में आगमनी उत्सव आयोजित किया जा रहा है। इसमें क्लब समितियों के अध्यक्ष और सचिवों को बुलाया गया है। कार्यक्रम में पार्टी नेताओं की ओर से उनसे संवाद भी किया जाएगा।
इसी कड़ी में, तृणमूल ने अपने ब्लॉक नेतृत्व को निर्देश दिया है कि वे पंडालों में स्टॉल लगाएं, जहां पार्टी पत्रिका और मुख्यमंत्री के लिखे पुस्तकों का वितरण किया जाए। इसका उद्देश्य दुर्गापूजा के दौरान जुटने वाली भारी भीड़ को साधना और पार्टी से जोड़ना है।
कूचबिहार जिला तृणमूल कांग्रेस अध्यक्ष अभिजीत दे भौमिक ने कहा, पिछले साल से ही कूचबिहार दक्षिण विधानसभा क्षेत्र के क्लबों को लेकर शोभायात्रा निकाली जा रही है। इस बार उसके साथ आगमनी उत्सव भी होगा। क्लब पदाधिकारियों को बुलाकर उनसे बातचीत की जाएगी। जो क्लब चंदा मांगेंगे, उन्हें चंदा दिया जाएगा। हालांकि उन्होंने यह स्पष्ट नहीं किया कि कितनी राशि दी जाएगी।
(Udaipur Kiran) / ओम पराशर
