
भोपाल, 1 अगस्त (Udaipur Kiran) । आतंकवाद निरोधक दस्ता (एटीएस) ने फर्जी दस्तावेजों के आधार पर भारतीय पासपोर्ट बनवाकर जबलपुर में रह रहे एक अफगानी नागरिक और उसके दो साथियों को गिरफ्तार करने में सफलता हासिल की है। एटीएस आरोपितों से पूछताछ कर रही है। फ़र्ज़ी-जाली दस्तावेज़ बनाने वालों, पुलिस वेरिफिकेशन मे सहयोग करने वालों और पोस्ट ऑफिस से फ़र्जी पते वाले पासपोर्ट दिलवाने मे सहयोग करने वालो को भी चिन्हित किया जा रहा है।
पुलिस के जनसम्पर्क अधिकारी आशीष शर्मा ने शुक्रवार को बताया कि एटीएस की जबलपुर इकाई को मुखबिर से सूचना प्राप्त हुई थी कि जबलपुर में कुछ अफगानी युवक अवैध रूप से निवासरत हैं। इसी सूचना के आधार पर जबलपुर से एक अफगानी नागरिक सोहबत ख़ान पुत्र बदरुद्दीन खान को गिरफ्तार किया गया है। सोहबत विगत लगभग 10 वर्षों से अवैध रूप से जबलपुर में रह रहा था। उसने स्थानीय महिला से निकाह भी कर लिया था। उसने न सिर्फ फर्जी दस्तावेजों के आधार पर अपना भारतीय पासपोर्ट बनवा लिया था, बल्कि वह पश्चिम बंगाल और छतीसगढ़ मे निवासरत अपने अफगानी साथियों के लिए भी जबलपुर के फर्जी पते पर दस्तावेज तैयार कर पैसे लेकर उनके भी भारतीय पासपोर्ट बनवा रहा था।
एटीएस को अब तक लगभग ऐसे 20 अफगानी युवकों की जानकारी मिली है, जिनके पासपोर्ट जबलपुर के पते से बनवाने का प्रयास किया गया, जिसमे से पश्चिम बंगाल निवासी अकबर और इक़बाल के पासपोर्ट तो जबलपुर के फर्जी पते से बन भी गए हैं। सोहबत खान को हिरासत में लेकर उससे इस अवैध कार्य मे लिप्त अन्य साथी दारानो के सम्बंध मे गहराई से पूछताछ की जा रही है।
गिरफ्तार आरोपितों में अफगानी युवक सोहबत खान पुत्र बदरुद्दीन खान, दिनेश गर्ग (40) पुत्र श्रवण कुमार गर्ग निवासी विजय नगर जबलपुर और महेंद्र कुमार सुखदन (45) पुत्र माधव प्रसाद सुखदन निवासी एपीएन स्कूल के पास, कटंगा, जबलपुर शामिल हैं। आरोपित दिनेश गर्ग वन विभाग में वनारक्षक है तथा विगात दो वर्षों से कार्यालय कलेक्टर के चुनाव सेल में कार्य कर रहा है।
एटीएस के अनुसार, आरोपित सोहबत खान द्वारा वर्ष 2015 मे जबलपुर से ड्राइविंग लाइसेंस बनवाया और 2020 में भारतीय पासपोर्ट प्राप्त किया। उसने पश्चिम बंगाल निवासी दो अफगानी अकबर और इक़बाल का भी जबलपुर के पते से भारतीय पासपोर्ट बनवाया। आधार कार्ड में पासपोर्ट बनवाने के तत्काल पहले पश्चिम बंगाल की जगह जबलपुर का फर्जी पता ऑनलाइन बदला गया। जबलपुर के स्थानीय युवकों को दस्तावेज बनवाने, पुलिस वेरिफिकेशन करवाने एवं पोस्ट ऑफिस से पासपोर्ट प्राप्त करवाने के एवज मे धन राशि दी गई। एटीएस को भारतीय पासपोर्ट बनवाने के लिए अब तक लगभग 10 लाख रुपये के लेन-देन की जानकारी प्राप्त हुई है।
(Udaipur Kiran) तोमर
