Uttar Pradesh

काशी तमिल संगमम— 4 : काशी और तमिलनाडु की सांस्कृतिक साझेदारी को गीतों से स्वर

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— बीएचयू विश्वनाथ मंदिर में गूंजी भक्ति-धारा,जनजागरूकता कार्यक्रम

वाराणसी,26 नवम्बर (Udaipur Kiran) । प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की परिकल्पना एक भारत, श्रेष्ठ भारत को साकार करने के लिए उनके संसदीय क्षेत्र वाराणसी में आगामी 2 दिसंबर से 15 दिसंबर के बीच काशी तमिल संगमम के चौथे संस्करण का आयोजन होगा। इस आयोजन से आमजन को जोड़ने के लिए जनजागरूकता कार्यक्रम जारी है। इसी क्रम में बुधवार शाम काशी हिन्दू विश्वविद्यालय (बीएचयू) परिसर स्थित श्री विश्वनाथ मंदिर परिसर में एक विशेष पूर्व-आयोजन के अंतर्गत “संध्या भजन” का आयोजन किया गया।

शिक्षा मंत्रालय और बीएचयू की मेजबानी में आयोजित इस कार्यक्रम में काशी और तमिलनाडु की सांस्कृतिक साझेदारी को छात्रों ने गीतों से स्वर दिया। विश्वविद्यालय के छात्र-छात्राओं ने लोकगीत एवं देवी-भजनों के सामूहिक गायन से पूरे वातावरण को भक्ति और सांस्कृतिक उत्कर्ष की भावना से ओतप्रोत कर दिया। इसमें दोनों प्रदेशों की परंपराओं की झलक स्पष्ट रूप से दिखाई दी। छात्र-छात्राओं की प्रस्तुतियों से भाषा की दिवार भी टूटी।

संदेश दिया गया कि भारत की भाषाएँ, मान्यताएं और कलाएं विविध होते हुए भी एक साझा सांस्कृतिक आत्मा से बंधी हैं। आयोजकों के अनुसार संध्या भजन कार्यक्रम का उद्देश्य काशी तमिल संगमम्–4 के प्रति छात्रों और आमजन में जागरूकता बढ़ाना तथा काशी और तमिलनाडु के प्राचीन ऐतिहासिक एवं आध्यात्मिक संबंधों को भावनात्मक रूप से पुनः स्थापित करना है। भजन की स्वर-लहरियाँ जब विश्वनाथ मंदिर के प्रांगण में गूँज रही थीं, तब आध्यात्मिक एकता और सांस्कृतिक समृद्धि का महत्त्व स्पष्ट रूप से अनुभूत किया गया। बताया गया कि ऐसे आयोजन दो महान सांस्कृतिक परंपराओं के बीच सेतु निर्माण करते हैं और युवाओं को अपनी जड़ों से जोड़ने का सशक्त माध्यम बनते हैं।

आयोजन समिति ने बताया कि आगामी दिनों में भी इस प्रकार के कई सांस्कृतिक, भक्‍ति-केन्द्रित और जनजागरूकता कार्यक्रम जनभागीदारी सुनिश्चित करने के उद्देश्य से आयोजित किए जाएंगे। काशी तमिल संगमम्–4 भारत की विविधता में निहित एकता को पुनः स्थापित करते हुए सांस्कृतिक आदान-प्रदान की एक प्रेरणादायक मिसाल बनने को तैयार है।

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(Udaipur Kiran) / श्रीधर त्रिपाठी