
कन्नौज के कर्णधारों ने लोक कवि घाघ को भुलाया..
कन्नौज , 27 सितम्बर (Udaipur Kiran News) । सरकार के निर्देश पर शनिवार को जिला मुख्यालय स्थित कलेक्ट्रेट परिसर में विश्व पर्यटन दिवस मनाया गया। देशी इत्र के लिए विश्व भर में विख्यात और पौराणिक कथाओं के केंद्र बिंदु कन्नौज में पुरातन और प्रतिभा की घोर अनदेखी करते हुए कार्यक्रम के नाम पर सिर्फ रस्म अदायगी हुईं। इस बात का चिंतनीय नज़ारा एक बार फिर इस कलमकार ने खुद देखा। महज़ आधे घंटे के अल्प समय में समेटे गए विश्व पर्यटन दिवस के कार्यक्रम हेतु आयोजक को कोई बड़ी व्यवस्था भी नहीं करनी पड़ी, क्योंकि जिले के सूचना विभाग ने देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 75 वें जन्म दिवस के उपलक्ष्य में भारत सरकार और उत्तर प्रदेश सरकार की जन कल्याणकारी योजनाओं की 15 दिवसीय प्रदर्शनी हेतु पांडाल पहले से लगा रखा है। कलेक्ट्रेट परिसर स्थित एनआईसी के किनारे सूचना विभाग के प्रदर्शनी पांडाल में ही विश्व पर्यटन दिवस की औपचारिकता पूरी की गई।
चूंकि शासन की मंशा के अनुरूप शनिवार को जिले के किसी एक पुलिस थाने पर समाधान दिवस का आयोजन निश्चित है। जिसमें जिलाधिकारी और पुलिस अधीक्षक की संयुक्त मौजूदगी आवश्यक होती है। ऐसे में माना जा सकता है कि शासन के अल्प कालीन निर्देश पर आयोजित किए गए कार्यक्रम की विधिवत व्यवस्था नहीं हो सकी। जिला सूचना कार्यालय द्वारा दी गई सूचना के अनुसार 11: 45 बजे विश्व पर्यटन दिवस मनाए जाने के लिए जिले के संवाददाताओं को आमंत्रित किया गया था ! जिला पर्यटन अधिकारी डॉ. मकबूल द्वारा संयोजित कार्यक्रम में जिला सूचना अधिकारी आलोक कुमार एवं राजकीय पुरातत्व संग्रहालय के वीथिका सहायक डॉ पवन तिवारी ने भरपूर योगदान किया। कार्यक्रम को सम्पन्न कराने के लिए यूपी पर्यटन निगम के पटल पर प्रदर्शित जिले के एकमात्र प्रमुख पर्यटन स्थल लाख बहोसी पक्षी बिहार के लोक गायकों की छः सदस्यीय टोली ने कार्यक्रम स्थल पर पहुंच कर भजन-कीर्तन के जरिए आयोजन को पूर्णता प्रदान की !
थाना समाधान दिवस छिबरामऊ में प्रतिभाग करने के लिए रवाना होने से पूर्व ठीक 12 बजे जिलाधिकारी आशुतोष मोहन अग्निहोत्री, अपर जिलाधिकारी ( वि / राजस्व )आशीष कुमार सिंह, उप जिलाधिकारी न्यायिक सदर अविनाश कुमार गौतम के साथ कार्यक्रम स्थल पहुंचे। इसके तत्काल बाद पुलिस अधीक्षक विनोद कुमार भी कार्यक्रम में शामिल हुए। करीब एक दर्जन स्कूली बच्चों और आधा दर्जन पत्रकारों के बीच लोक गायकों की टोली ने एक भजन और एक कीर्तन प्रस्तुत किया ! समयाभाव के कारण मात्र 5 मिनट में प्रदर्शनी का अवलोकन करके जिलाधिकारी और पुलिस अधीक्षक लोक गायकों को सम्मानित करने के बाद अगले गंतव्य को विदा हो गए।
विश्व पर्यटन दिवस मनाने की शुरुआत सन 1980 में हुई थी। प्रतिवर्ष 27 सितंबर को मनाएं जाने वाले विश्व पर्यटन दिवस को इस साल 45 साल पूरे हो गए है। संयुक्त राष्ट्र विश्व पर्यटन संगठन (यूएनडब्लूटीओ) द्वारा विश्व भर में पर्यटन के साथ सांस्कृतिक, राजनैतिक एवं आर्थिक महत्व को बढ़ावा देने के उद्देश्य से इसकी शुरुआत की गई थी किंतु चिंता का विषय ये है कन्नौज में इस बार का ये कार्यक्रम महज रस्म अदायगी में ही सिमट गया। क्योंकि कन्नौज सिर्फ इत्र के लिए ही विश्व भर में विख्यात नहीं है बल्कि ये नगरी भगवान श्रीराम के गुरु ब्रम्हर्षि विश्वामित्र की जन्म स्थली भी है। यही नहीं इस नगरी से रामचरित मानस के रचयिता गोस्वामी तुलसीदास के समकक्ष लोक कवि घाघ का संबंध है, जिनकी लोकोक्तियों मानसून, प्रकृति और मानव जीवन की जीवन शैली पर अकाट्य सिद्ध हैं। पौराणिक गाथाओं और ऐतिहासिक धरोहर को अपने आंचल में समेटने वाले कन्नौज के कर्णधारों के लिए इससे दुखद क्या होगा कि उनके इस नगर को 28 वर्ष पहले इसी महीने में जिले का दर्जा मिला था और महीने के इसी सप्ताह में बहु दिवसीय कन्नौज महोत्सव भी होता रहा है जो पिछले दो वर्ष से स्थगित है।
(Udaipur Kiran) झा
