पलवल, 19 जून (Udaipur Kiran) । जिला कारागार में कैदियों के मानसिक और आध्यात्मिक उत्थान के उद्देश्य से श्रीकृष्ण कृपा मंच द्वारा गीता पाठ कार्यक्रम का आयोजन गुरूवार को किया गया। यह कार्यक्रम गीता मनीषी ज्ञानानंद महाराज के मार्गदर्शन में लगातार तीसरे सप्ताह आयोजित किया गया है।
कार्यक्रम का संचालन प्रवीण ग्रोवर, राजीव बत्रा, संजय बत्रा और मंजीत डावर ने किया। गीता के सार को सरल और प्रेरक रूप में समझाने का कार्य विकास मित्तल और अल्पना मित्तल ने किया। उन्होंने गीता को एक ऐसा जीवनोपयोगी काव्य बताया जो न केवल आत्मचिंतन की राह दिखाता है, बल्कि व्यक्ति को कठिन परिस्थितियों में भी संतुलन बनाए रखने की प्रेरणा देता है।
कार्यक्रम में श्रीमद्भगवद्गीता के कर्मयोग, भक्ति योग और ज्ञान योग के सिद्धांतों पर प्रकाश डाला गया। वक्ताओं ने बताया कि ये शिक्षाएं कैदियों को न केवल वर्तमान चुनौतियों से जूझने में सहायक होंगी, बल्कि उन्हें जीवन के प्रति एक सकारात्मक दृष्टिकोण भी प्रदान करेंगी।
जिला कारागार के डीएसपी धर्मचंद नैन ने कहा कि गीता पाठ केवल धार्मिक अनुष्ठान नहीं, बल्कि जीवन जीने की एक प्रेरक शैली है। इससे बंदियों को आत्मावलोकन करने और समाज में एक बेहतर, जिम्मेदार नागरिक बनकर लौटने की प्रेरणा मिलती है। कार्यक्रम में विजय कालड़ा, जेल के कई कर्मचारी और विचाराधीन बंदी भी उपस्थित रहे। गीता पाठ के इस प्रयास को जेल प्रशासन और बंदियों दोनों ने सराहा।
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(Udaipur Kiran) / गुरुदत्त गर्ग
