
धार, 08 नवंबर (Udaipur Kiran) । नशे के विरुद्ध मध्य प्रदेश पुलिस की सख्त नीति और सतत अभियान लगातार जारी है। धार जिले के थाना मनावर पुलिस ने बड़ी कार्रवाई की है। इस कार्रवाई में पुलिस ने कुल 515 हरे गांजे के पौधे, लगभग 1361.38 किलोग्राम एवं 1 करोड़ 31 लाख 29 हजार 800 है, जब्त किए हैं।
शनिवार को पुलिस मुख्यालय भोपाल से जारी प्रेस नोट में बताया कि पुलिस अधीक्षक धार को सूचना प्राप्त हुई थी कि जिले के ग्रामीण क्षेत्रों में कुछ असामाजिक तत्व कपास की फसल के बीच गांजे की अवैध खेती कर उसकी तस्करी में संलिप्त हैं। प्राप्त शिकायतों पर तत्काल संज्ञान लेते हुए एसपी धार अवस्थी द्वारा जिले के सभी एसडीओपी, थाना एवं चौकी प्रभारियों को प्रभावी कार्यवाही के लिए निर्देशित किया गया।
शुक्रवार को थाना प्रभारी मनावर ईश्वर सिंह चौहान एवं उनकी टीम द्वारा एक ही दिन में तीन स्थानों पर दबिश देकर अवैध गांजा खेती के तीन मामलों का खुलासा किया गया।
पहली कार्रवाही ग्राम जामनियामोटा (लाईनपुरा) में हुई, जहां थाना मनावर पुलिस को मुखबिर से सूचना मिली कि सरदार पिता भुरे सिंह चौहान ने अपने खेत में कपास की फसल के बीच गांजे के पौधे लगा रखे हैं।
पुलिस टीम ने दबिश देकर 75 नग हरे गांजे के पौधे (वजन 112.600 किग्रा, मूल्य₹5,60,000 लगभग) जप्त किए। मामले में एनडीपीएस एक्ट पंजीबद्ध किया गया है।
वहीं दूसरी कार्रवाही ग्राम बापडुद में नानबाई पति स्व. प्रताप के खेत में की गई। जहां मुखबिर की सूचना पर नानबाई पति स्व. प्रताप के खेत में अवैध गांजे की खेती का खुलासा हुआ। पुलिस ने 130 नग गांजे के पौधे (वजन 386.98 किग्रा, मूल्य लगभग 38 लाख 69 हजार 800 रूपए) जप्त किए। मामले में एनडीपीएस एक्ट के तहत अपराध पंजीबद्ध किया गया है।
तीसरी कार्रवाही में इसी स्थान पर रामेश्वर उर्फ पोमडिया पिता निर्भय सिंह के खेत से 310 नग गांजे के पौधे (वजन 861.80 किग्रा, मूल्य ₹87,00,000 लगभग) बरामद किए गए।
इस संबंध में एनडीपीएस एक्ट के तहत अपराध दर्ज किया गया है।
धार पुलिस की इस कार्रवाई से नशे के अवैध कारोबार में संलिप्त तत्वों में हड़कंप मच गया है। पुलिस अधीक्षक मयंक अवस्थी ने बताया कि नशा समाज की जड़ों को खोखला करने वाला अभिशाप है, और पुलिस नशामुक्त समाज की दिशा में लगातार प्रतिबद्ध है। उन्होंने कहा कि इस प्रकार की अवैध गतिविधियों में संलिप्त किसी भी व्यक्ति को बख्शा नहीं जाएगा।
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(Udaipur Kiran) / राजू विश्वकर्मा