Uttar Pradesh

‘स्वस्थ नारी, सशक्त परिवार’ ही स्वस्थ भारत की नींव : डॉ जीएस तोमर

सम्बोधित करते डॉ जीएस तोमर

प्रयागराज, 11 अक्टूबर (Udaipur Kiran News) । आरोग्य भारती एवं डॉ प्रीति हॉस्पिटल के संयुक्त तत्वावधान में प्रवेक कल्प के सौजन्य से “स्वस्थ नारी सशक्त परिवार” अभियान के अन्तर्गत डॉ प्रीति हॉस्पिटल, झूँसी में “स्त्री स्वास्थ्य एवं सुपोषण” विषय पर शनिवार को एक वैज्ञानिक संगोष्ठी का आयोजन किया गया। आरोग्य भारती के उपाध्यक्ष डॉ जी एस तोमर ने कहा कि ‘स्वस्थ नारी, सशक्त परिवार’ ही स्वस्थ भारत की नींव है।

कार्यक्रम के प्रारंभ में डॉ अमित त्रिपाठी ने अतिथियों का स्वागत किया। मुख्य अतिथि जीबी पंत की डायरेक्टर डॉ अर्चना सिंह ने सामाजिक समरसता एवं महिलाओं की वैचारिक स्वतंत्रता को किसी भी समाज की उन्नति का आधार बताया। उन्होंने कहा हमें आखिरी छोर पर खड़ी उस नारी के स्वास्थ्य तक परियोजनाओं को पहुंचाना है तभी समग्र विकास संभव है। उन्होंने इस महत्वपूर्ण आयोजन के लिए आयोजकों को धन्यवाद दिया।

अतिथि वक्ताओं में रोटेरियन गीतिका अस्थाना ने “सृजनात्मकता एवं स्वास्थ्य” विषय पर बताया कि पारिवारिक दायित्व के साथ साथ हमें अपनी हॉबी को हमेशा जीवंत रखना चाहिए। कविता, गायन एवं नृत्य न केवल मन को प्रसन्नता एवं सकारात्मकता से भरते हैं अपितु सम्पूर्ण स्वास्थ्य को भी समुन्नत करते हैं।

विशिष्ट अतिथि मोतीलाल नेहरु मेडिकल कॉलेज की पूर्व शोध अधिकारी डॉ शांति चौधरी ने कहा एक महिला को स्वास्थ्य की जानकारी देना पूरे परिवार के स्वास्थ्य की गारंटी है। मोतीलाल नेहरु मेडिकल कॉलेज के सेवा काल मे मैंने इसे प्रत्यक्ष अनुभव किया है। मोक्षदा सिंह ने कहा कि शिक्षा केवल नौकरी नहीं स्वावलंबन के दरवाज़े भी खोलती है। वनस्थली विद्यापीठ जैसे प्रतिष्ठित विश्वविद्यालय से एमबीए की डिग्री लेने के बाद मैंने अपनी अभिरुचि को हमेशा जीवित रखा। यही कारण है कि मैंने मुम्बई से अपनी नौकरी छोड़ कर पारिवारिक दायित्वों के निर्वहन के साथ साथ “क्रस्ट क्लाउड किचन” प्रारम्भ किया। उन्होंने बताया कि पिज्जा, नूडल्स, पास्ता एवं बर्गर जैसे पाश्चात्य खाद्यान्नों की तरफ बढ़ रहे नई पीढ़ी के झुकाव को देखते हुए हमें नवाचार के माध्यम से शुद्धता एवं गुणवत्ता से अपनी पारम्परिक आहार संस्कृति में बदलाव लाने की ज़रूरत है।

विशिष्ट अतिथि त्रिवेणीपुरम् विकास एवं कल्याण समिति की सचिव पर्यावरणविद् डॉ निर्मला तोमर ने अपने व्यक्तिगत जीवन में लिए गए दृढ़ संकल्प के माध्यम से कूड़े के अम्बार से पटे हुए पार्क को सुंदर ग्रीन पार्क में तब्दील करने की कहानी प्रस्तुत किया। उन्होंने बताया कि हर काम सरकार के भरोसे न छोड़कर हमें अपनी संकल्प शक्ति से भी काम लेना होगा। डॉ निर्मला ने बताया कि प्रतिष्ठित अन्तरराष्ट्रीय जर्नल में प्रकाशित शोध के अनुसार हरे भरे पार्क के एक किलोमीटर की परिधि में रहने वालों को एंग्जाइटी तथा डिप्रेशन जैसे मनोरोग नहीं होते। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के 2047 तक विकसित भारत के सपने को साकार करने के लिए उन्होंने सामाजिक समरसता, कुटुम्ब प्रबोधन, पर्यावरण संरक्षण, स्वदेशी भाव तथा नागरिक कर्तव्य जैसे पंच परिवर्तनों की आवश्यकता पर बल दिया।

अपने अध्यक्षीय उद्बोधन में ख्याति लब्ध स्त्री रोग विशेषज्ञ डॉ प्रीति त्रिपाठी ने चिकित्सा को मात्र धनार्जन का साधन न मानते हुए सेवा का सशक्त माध्यम एवं चिकित्सा को सभी पुण्य कर्मों में श्रेष्ठ बताया। उन्होंने कहा झूँसी जैसे क्षेत्र में महिलाओं एवं नवजात शिशुओं के लिए एनआईसीयू सहित सभी सुविधाओं से युक्त चिकित्सालय की स्थापना के पीछे यही पुनीत उद्देश्य छिपा है। मेरा प्रयास रहता है कि मैं अपने रोगियों के प्रति करुणा एवं मैत्री का भाव स्थापित करते हुए उन्हें आवश्यक औषधियों के साथ साथ उचित खान पान की जानकारी भी साझा करूं।

कार्यक्रम के अंत में अनुराग अस्थाना ने धन्यवाद ज्ञापित कर शांति मंत्र के साथ समापन किया। संचालन आरोग्य भारती के उपाध्यक्ष डॉ जी एस तोमर ने किया। इस अवसर पर आरोग्य भारती महानगर सचिव बृजेन्द्र श्रीवास्तव, अखिलेन्द्र सिंह, अंकुर सिंह सहित विविध क्षेत्रों से कई पुरुष एवं महिलाएं उपस्थित रहीं।

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(Udaipur Kiran) / विद्याकांत मिश्र

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