CRIME

पत्थर व्यापारी के पोते को अगवा कर 4 करोड़ की फिरौती मांगने वाले पांच बदमाश मुठभेड़ में गिरफ्तार

पत्थर व्यापारी के पोते को अगवा कर 4 करोड़ की  फिरौती मांगने वाले पांच बदमाश मुठभेड़ में गिरफ्तार

गौतमबुद्ध नगर, 14 सितम्बर (Udaipur Kiran) । हनी ट्रैप में फंसाकर पत्थर व्यापारी के पोते को अगवा कर उससे 4 करोड़ों रुपए की रंगदारी मांगने वाले पांच बदमाशों को गौतमबुद्ध नगर पुलिस ने एक मुठभेड़ के दौरान रविवार शाम को गिरफ्तार किया है।

पुलिस द्वारा चलाई गई गोली दो बदमाशों के पैर में लगी है। पुलिस ने अपहृत युवक को सकुशल बरामद कर लिया है। बदमाशों ने अपहरण के लिए एक सुदृढ़ योजना बनाई थी, तथा युवक की एक युवती से फोन पर कॉलिंग और सोशल मीडिया के माध्यम से दोस्ती करवा कर उसे घटना वाले दिन गौतम बुद्ध नगर में बुलाया था।

पुलिस उपायुक्त जोन तृतीय साद मिंया खान ने बताया कि 9 सितम्बर को राम प्रकाश गुप्ता ने रिपोर्ट दर्ज कराई थी कि उनका पोता शशांक गुप्ता 9 सितम्बर को गाजियाबाद के नेहरू नगर स्थित अपने घर से मारुति बलेनो कार में सवार होकर निकला था, लेकिन वह वापस नहीं आया। उसकी कार यमुना एक्सप्रेसवे पर मिली। उन्होंने बताया कि घटना की रिपोर्ट दर्ज कर थाना दनकौर पुलिस ने जांच शुरू की। घटना के खुलासे के लिए पुलिस की पांच टीमें लगाई गई।

उन्होंने बताया कि कई थानों की पुलिस और स्वाट टीम भी घटना के खुलासे में लगी। बताया कि 5 दिन तक चले ऑपरेशन के बाद आज पुलिस ने थाना जेवर क्षेत्र से एक मुठभेड़ के दौरान पत्थर व्यापारी के पोते का अपहरण करने वाले पांच बदमाशों को गिरफ्तार किया है। आरोपी आज फिरौती की चार करोड़ रुपए की रकम वसूलने के लिए अपहृत को अपने साथ लेकर आए थे। उन्होंने बताया कि पुलिस द्वारा चलाई गई गोली मोहित गुप्ता पुत्र राकेश गुप्ता निवासी जनपद फर्रुखाबाद, आलोक यादव पुत्र शिव सिंह यादव निवासी जनपद कन्नौज के पैर में लगी है। इनके तीन साथी निमय शर्मा पुत्र योगेश कुमार निवासी गौतमबुद्ध नगर, श्याम सुंदर पुत्र मथुरा प्रसाद निवासी छिबरामऊ जिला कन्नौज, सुमित कुमार पुत्र राघवेंद्र निवासी जनपद फर्रुखाबाद को कांबिंग के दौरान गिरफ्तार किया गया है। उन्होंने बताया कि इनके पास से अपहरण में प्रयुक्त कार, दो देशी तमंचे, कारतूस आदि बरामद हुआ है। इनके चंगुल से अपहृत युवक को सकुशल बरामद किया गया है।

उन्होंने बताया कि जांच के दौरान पुलिस को पता चला कि पत्थर व्यापारी के पोते का अपहरण करने के बाद बदमाश उसके परिजनों से इंटरनेट कॉलिंग से जुड़े हुए थे। वे लोग परिजनों से चार करोड़ रुपए की फिरौती की मांग कर रहे थे। गिरफ्तार बदमाशों ने पुलिस को बताया कि उन्होंने अपहरण की एक ठोस योजना बनाई थी। उन्होंने शशांक की दोस्ती एक युवती से फोन कॉलिंग और शोशल मीडिया के माध्यम से करवाई। दोनों के बीच जब गहरे संबंध बन गए तो युवती ने शशांक को मिलने के लिए यमुना एक्सप्रेसवे पर बुलवाया। जैसे ही शशांक अपनी मारुति बलेनो कार में सवार होकर यमुना एक्सप्रेस पर पहुंचा पहले से ही घात लगाए बैठे गैंग के लोगों ने उसे अगवा कर लिया। उसे बंधक बनाकर उत्तर प्रदेश के जनपद फर्रुखाबाद, कन्नौज सहित कई जगहों पर घूमाते रहे। बदमाश बार-बार अपना ठिकाना बदल रहे थे।

उन्होंने बताया कि पुलिस यह पता लगाने का प्रयास कर रही है कि जिस युवती से अपहृत युवक की दोस्ती करवाई गई थी वह कौन थी, क्या वह वास्तव में युवती थी या किसी एप के माध्यम से लड़का लड़की बनकर उससे बात कर रहा था। उन्होंने बताया कि पुलिस यह भी पता लगाने का प्रयास कर रही है कि शशांक को आरोपी कैसे जानते थे। उन्होंने बताया कि पकड़े गए आरोपियों से पुलिस की टीमें गहनता से पूछताछ कर रही है। पुलिस को जांच में पता चला है कि गिरफ्तार बदमाशों में कुछ के ऊपर काफी कर्ज है। कर्ज चुकाने के लिए उन्होंने अपहरण की योजना बनाई थी। पुलिस ने बरामद युवक का डाक्टरी परीक्षण करवाया। वह मानसिक रूप से टूट चुका है। उसने बताया कि बदमाश उसे काफी यातना दे रहे थे। उन्होंने धमकी दी थी की फिरौती के रकम नहीं देने पर उसकी हत्या कर दी जाएगी।

अपहृत युवक के बरामद होने के बाद उससे मिलकर उसके परिजन रो पड़े। उनके आंसू थमने का नाम नहीं ले रहे थे। युवक के दादा ने कहा कि हमें आशा नहीं थी कि हम अपने पोते से मिल पाएंगे। उन्होंने कहा कि हम अपने पोते से मिलने की आस खो बैठे थे। उन्होंने पुलिस कमिश्नर गौतमबुद्धनगर और पुलिस टीम का आभार व्यक्त किया है।

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(Udaipur Kiran) / सुरेश चौधरी

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