
नई दिल्ली, 8 अक्टूबर (Udaipur Kiran News) । दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच ने राजधानी में नकली इंजन ऑयल बनाने वाले एक बड़े गिरोह का पर्दाफाश किया है। कंझावला इंडस्ट्रियल एरिया में चल रही इस अवैध फैक्टरी पर छापेमारी कर पुलिस ने 2,600 लीटर नकली इंजन ऑयल, मशीनें और पैकेजिंग सामग्री बरामद की है। बरामद माल की कीमत करीब 15 लाख आंकी गई है। पुलिस ने इस संबंध में पांच लोगों को गिरफ्तार किया है, जिनमें दो भाई सक़लैन अहमद उर्फ प्रिंस और सोहिद उर्फ अल्लू मुख्य साजिशकर्ता हैं। पकड़े गए अन्य आरोपितों की पहचान शकीलुद्दीन उर्फ शकील, शान मोहम्मद और मोहम्मद सलमान के रूप में हुई है।
सटीक सूचना पर मारा छापा
क्राइम ब्रांच के पुलिस उपायुक्त आदित्य गौतम ने बुधवार को बताया कि टीम को सूचना मिली थी कि कंझावला क्षेत्र में कुछ लोग अंतरराष्ट्रीय ब्रांडों के नाम पर नकली मोबिल ऑयल बना रहे हैं। सूचना पर कार्रवाई करते हुए इंस्पेक्टर कमल कुमार की अगुवाई एक टीम का गठन किया। पुलिस ने टीम सात अक्टूबर को गुप्त सूचना के आधार पर छापा मारा और मौके से पांच लोगों को गिरफ्तार कर भारी मात्रा में नकली ऑयल, खाली बोतलें, स्टीकर, होलोग्राम, और पैकिंग सामग्री जब्त की।
कैसे चल रहा था नकली तेल का कारोबार
पूछताछ में खुलासा हुआ कि मुख्य आरोपित प्रिंस और उसका भाई अल्लू, दोनों आगरा (उप्र) के निवासी हैं। उन्होंने मई 2025 में कंझावला में एक फैक्ट्री किराए पर ली थी। दोनों पहले भी 2021 में इसी तरह के अपराध में गिरफ्तार हो चुके हैं। ये लोग सस्ते और घटिया गुणवत्ता वाले लुब्रिकेंट को महंगे ब्रांड्स के नाम से पैक करते थे। वे फर्जी रैपर, स्टिकर, और होलोग्राम लगाकर असली पैकिंग जैसी हूबहू कॉपी तैयार करते थे। इसके बाद यह नकली ऑयल स्थानीय ऑटो पार्ट्स की दुकानों और वर्कशॉप्स में सस्ते दाम पर सप्लाई किया जाता था। अधिकांश लेनदेन कैश में और फर्जी बिलों के जरिए किया जाता था ताकि कोई पकड़ न सके। पुलिस उपायुक्त ने बताया कि हर महीने ये लोग करीब 8,000 से 10,000 लीटर नकली तेल बेचकर 2.5 लाख तक की कमाई कर रहे थे। वहीं, फैक्टरी में इस्तेमाल मशीनें और पैकिंग का स्तर इतना उच्च था कि असली और नकली उत्पाद में फर्क करना आम खरीदारों के लिए लगभग असंभव था।
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(Udaipur Kiran) / कुमार अश्वनी
