Jharkhand

धूरिना कंपनी से वसूली जाएगी राशि,‌ डीईओ ने लिखी चिट्ठी

कंपनी का फाइल फोटो

रामगढ़, 4 अक्टूबर (Udaipur Kiran News) । मेसर्स धूरिना वेंचर्स प्राइवेट लिमिटेड को शिक्षा विभाग से गलत तरीके से लाखों रुपये का आवंटन कराना भारी पड़ गया। जिन बच्चों की इंजीनियरिंग का रिजल्ट दिखा कर डीएमएफटी फंड के लाखों रुपए की उगाही कराई है, उसकी जांच हो रही है। शिक्षा विभाग आवंटित राशि को वसूलने की तैयारी कर रहा है। डीईओ ने कंपनी को राशि वापस करने की चिट्ठी लिखी है। हालांकि कंपनी की तरफ से इस संबंध में विभाग को जवाब नहीं मिला है। उल्‍लेखनीय है कि उदित्य राज पांडे का फर्जी सर्टिफिकेट लगाने के बाद धूरिना वेंचर्स प्राइवेट लिमिटेड का जिले में किया गया कार्य सवालों के घेरे में आ गया है। अब शिक्षा विभाग के अधिकारी उन नौ बच्चों को तलाश रहे हैं, जिनका सर्टिफिकेट धूरिना वेंचर्स प्राइवेट लिमिटेड की ओर से विभाग में लगाया गया है। उन बच्चों की पढ़ाई संपन्न हुए दो साल हो गए हैं। जेईई और नीट का रिजल्ट आए हुए एक वर्ष हो चुका है और बच्चे अलग-अलग स्थान पर नामांकन लेकर पढ़ाई कर रहे हैं। उनका पता लगा पाना मुश्किल हो रहा है।

उदित्य राज पांडे के नाम पर कंपनी ने बनाई फर्जी अटेंडेंस

इस संबंध में जिला शिक्षा पदाधिकारी (डीईओ) नीलम कुमारी ने बताया कि मेसर्स धूरिना वेंचर्स प्राइवेट लिमिटेड ने दस्तावेजों की जालसाजी की है। कंपनी ने जाली दस्तावेजों को असली रूप में उपयोग किया है साथ ही खातों और अभिलेखों में छेड़छाड़ की। कंपनी ने आपराधिक विश्वासघात और सरकारी धन का दुरुपयोग किया है। यहां तक कि आपराधिक षड्यंत्र कर विभाग को धोखा दिया है। उन्होंने बताया कि कंपनी की ओर से जितने दस्तावेज उदित्य राज पांडे के नाम पर लगाए गए हैं सभी फर्जी थे।

डीईओ ने कहा कि उदित्य राज पांडे के शपथ पत्र से यह स्पष्ट हो गया है कि कंपनी ने उदित्य राज पांडे के नाम पर फर्जी रजिस्ट्रेशन फॉर्म तैयार किया। जेईई और नीट का स्कोर कार्ड भी बिना उसकी सहमति के कंपनी ने इस्तेमाल किया। मेसर्स धूरिना वेंचर्स प्राइवेट लिमिटेड ने उपलब्ध कराए गए नामांकन सूची में भी गलत तरीके से उदित्य का नाम डाला।

वहीं मामले को लेकर थाने में डीईओ की ओर से दर्ज कराई गई प्राथमिकी के बाद पुलिस भी सक्रिय हो गई है। पुलिस उन बारिकियों को तलाश रही है जहां कंपनी ने फर्जीवाड़ा किया है। सारे दस्तावेजों की जांच की जा रही है। जितने भी दस्तावेज शिक्षा विभाग की ओर से पुलिस को उपलब्ध कराए गए हैं, इसकी छानबीन हो रही है।

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(Udaipur Kiran) / अमितेश प्रकाश

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