Assam

बांध के विरोध में और अधिक मजबूती के साथ होगा लोकतांत्रिक आंदोलन

इटानगर, 23 सितंबर (Udaipur Kiran News) । यदि अरुणारुचल प्रदेश सरकार सियांग अपर

बहुउद्देशीय परियोजना (एसयूएमपी) के प्रस्ताव के संबंध में आदिसू की मांगों को

पूरा करने में विफल रहती है, तो अखिल छात्र संघ (आदिसू) और सियांग स्वदेशी किसान मंच

(एसआईएफएफ) के मार्गदर्शन में आदि क्षेत्र में और अधिक मजबूत के साथ लोकतांत्रिक

आंदोलन चलाया जाएगा।

अरुणाचल प्रेस क्लब में आज पत्रकारों को संबोधित करते हुए टागोरी मिज़े ने

बताया कि 22 सितंबर को 12 घंटे के बंद का आह्वान बिना किसी घटना के शांतिपूर्ण ढंग से संपन्न हो गया, यह प्रस्तावित अपर बहुउद्देशीय परियोजना (एसयूएमपी) का विरोध करके सरकार के

खिलाफ विरोध प्रदर्शन शुरू हो गया है।

एसआईएफएफ और सियांग क्षेत्र का छात्र समुदाय चाहता है कि सरकार प्रभावित

परिवारों को बांध के गुण-दोषों के बारे में जागरूक करके उन्हें समझाए, लेकिन आज तक राज्य सरकार संस्था की मांगों की अनदेखी करके इस मुद्दे को हल करने

में विफल रही है। राज्य सरकार सियांग क्षेत्र के लोगों के साथ क्यों पक्षपात कर

रही है यह बड़ा सवाल बना हुआ है।

उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि राज्य सरकार जनता को गुमराह कर रही है और

ग्रामीणों से समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर ले रही है, जबकि वास्तव में

ग्रामीणों को बड़े बांध के गुण-दोष और बांध के भविष्य के परिणामों की जानकारी नहीं

है। एसआईएफएफ बांध नहीं तो पीएफआर नहीं के नारे के साथ बांध निर्माण

का कड़ा विरोध करता है, लेकिन अगर ग्रामीण चाहते हैं तो हमें कोई आपत्ति नहीं है, इसलिए राज्य सरकार को बांध प्रभावित लोगों को जागरूक करना चाहिए।

उन्होंने आदि समुदाय के कई छात्र संघों की भी सराहना की और उन्हें धन्यवाद

दिया, जिन्होंने आदिएसयू के हालिया बंद के आह्वान का समर्थन किया, जिसमें अंतरराज्यीय और अंतर-जिला इकाइयां और गुवाहाटी और शिलांग स्थित छात्र

संघ इकाइयां शामिल हैं।

(Udaipur Kiran) / तागू निन्गी

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