
कोलकाता, 01 सितंबर (Udaipur Kiran) । कोलकाता के मानिकतल्ला स्थित महर्षि दधीचि भवन में महर्षि दधीचि जयन्ती मनाई गई। शुरु में महर्षि तथा मातेश्वरी दधिमथी की पूजा अर्चना की गई जिसमें बड़ी संख्या में मातृशक्ति व समाजजनों ने भाग लिया। समारोह की अध्यक्षता समाजसेवी व उद्योगपति जयनारायण दायमा ने की।
प्रधान अतिथि थे पारीक सभा के अध्यक्ष व समाजसेवी प्रभुदयाल पारीक तथा प्रधान वक्ता थी चिकित्सक डॉ. उषा आसोपा। विशिष्ट अतिथियों में पार्षद विजय ओझा और राजस्थान ब्राह्मण संघ की अध्यक्षा दुर्गा व्यास शामिल थे। ट्रस्ट के अध्यक्ष प्रदीप सूंटवाल ने उपस्थित लोगों का स्वागत करते हुए उन्हें महर्षि दधीचि जयन्ती की शुभकामना दी। अतिथियों का अंगवस्त्र प्रदान कर स्वागत किया सीताराम तिवारी, हरीश आसोपा, विमल दोलावत, अनुपमा आसोपा एवं मंजू दोलावत ने।
प्रधान अतिथि प्रभुदयाल पारीक ने दधीचि के त्याग को मानवता की रक्षा के लिये महान त्याग बताया तथा आज के परिप्रेक्ष्य में उनके आदर्शों को अनुसरण करने की आवश्यकता बताई। विशिष्ट अतिथि विजय ओझा ने देश-विदेश में दधीचि जयन्ती मनाये जाने पर हर्ष व्यक्त करते हुए उनके आदर्शों को संगठित होकर विस्तार देेने का आह्वान किया। डॉ. उषा आसोपा ने भवन में चल रही नि:शुल्क होमियो चिकित्सालय की सेवाओं के बारे में बताया तथा आगामी चिकित्सा शिविरों के बारे में जानकारी दी। दुर्गा व्यास ने निवेदन किया कि महर्षि दधीचि के जीवन के बारे में नई पीढ़ी को बताने के लिये समय समय पर आयोजन किये जाने चाहिए।
मंत्री नारायणदास आसोपा ने धन्यवाद ज्ञापन किया एवं संचलान किया बंशीधर शर्मा ने।
कार्यक्रम के सफल बनाने में देवकीनन्दन पलोड़, महालचन्द बेहड़, भंवरलाल गोपालपुरिया, हरिप्रसाद पलोड़, प्रेमरतन पलोड़, सुरेन्द्र जोशी, नवरत्न इनाणिया, किशन गोपाल एवं अन्य कार्यकर्ताओं का सक्रिय सहयोग रहा।
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(Udaipur Kiran) / संतोष मधुप
