
तिनसुकिया (असम), 10 नवम्बर (Udaipur Kiran) । असम प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष एवं लोकसभा सांसद गौरव गोगोई ने सोमवार को मुख्यमंत्री डॉ. हिमंत बिस्व सरमा पर तीखा हमला बोला। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री ने अपनी विश्वसनीयता न केवल जनता के बीच, बल्कि अपनी पार्टी के अंदर भी खो दी है।
गोगोई तिनसुकिया जिले के दिगबोई विधानसभा क्षेत्र के बिजुलीबान में आयोजित एक विशाल कांग्रेस सदस्यता ग्रहण रैली को संबोधित करने के बाद पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे। उन्होंने मुख्यमंत्री के हालिया बयानों पर पलटवार करते हुए कहा, “आज तो गौहाटी यूनिवर्सिटी का कोई भी छात्र मुख्यमंत्री से बेहतर बहस कर सकता है। वे अक्सर बोलते समय नियंत्रण खो देते हैं और खुद नहीं समझ पाते कि क्या कह रहे हैं।”
बिजुलीबान कंकन युवक संघ के खेल मैदान में आयोजित इस कार्यक्रम में कुल 1,269 नए सदस्य कथित तौर पर कांग्रेस में शामिल हुए। इनमें पूर्व भाजपा तिनसुकिया जिला अध्यक्ष लोकेश्वर मोरान और असम टी ट्राइब स्टूडेंट्स एसोसिएशन (आटसा) के करीब 100 सदस्य कथित तौर पर शामिल हैं। कार्यक्रम में वरिष्ठ कांग्रेस नेता एवं दुमदुमा के पूर्व विधायक दुर्गा भूमिज भी मौजूद थे।
गोगोई ने कहा कि यह राज्य में पिछले तीन महीनों में आयोजित तीसरा बड़ा सदस्यता अभियान है। उन्होंने कहा, “हमने वादा किया था कि हर महीने की 10 तारीख को नए लोग कांग्रेस से जुड़ेंगे और हम वह वादा निभा रहे हैं। जबकि भाजपा में इसके विपरीत, लोग पार्टी छोड़कर जा रहे हैं।”
खेल संघों पर मुख्यमंत्री के प्रभाव पर निशाना साधते हुए गोगोई ने कहा, “बीसीसीआई सचिव और एसीए अध्यक्ष मुख्यमंत्री के दाएं-बाएं हाथ हैं, फिर भी भाजपा नेताओं को यह तक पता नहीं था कि उमा क्षेत्री महिला विश्वकप जीतकर कब असम लौटीं।”
मुख्यमंत्री द्वारा उन्हें “राजनीति के लिए बच्चा” बताने वाले बयान पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए गोगोई ने कहा, “उनकी खुद की पार्टी में अब कोई उनकी नहीं सुनता। भाजपा केवल उन्हें हटाने की योजना बना रही है।” उन्होंने दावा किया कि मुख्यमंत्री ने अपने सहयोगियों और जनता दोनों का भरोसा खो दिया है। उन्होंने कहा, “दिल्ली में बैठे भाजपा नेता भी अब उनके मेरे खिलाफ झूठे आरोपों पर हंसते हैं।”
आर्थिक नीतियों की आलोचना करते हुए उन्होंने कहा कि गरीब जनता सस्ता राशन लेने तक के लिए संघर्ष कर रही है, जबकि जल जीवन मिशन के ठेकेदारों का भुगतान नहीं हुआ और शिक्षकों को संविदा पदों से हटा दिया गया है। उन्होंने कहा कि लोग बेरोजगार हो रहे हैं, चाय बागान मजदूरों को बोनस नहीं मिल रहा और सरकार के पास इसका जवाब नहीं है कि पैसा आखिर जा कहां रहा है।
कॉरपोरेट मामलों में मुख्यमंत्री पर दोहरे मापदंड अपनाने का आरोप लगाते हुए गोगोई ने कहा कि वे टाटा सेमीकंडक्टर की बात करते हैं, लेकिन टाटा चाय बागानों पर चुप रहते हैं क्योंकि उनके मालिक उनके करीबी हैं।
अंत में गोगोई ने कहा कि कांग्रेस का यह अभियान सत्ता पाने के लिए नहीं, बल्कि असम में “गरिमा और न्याय” बहाल करने के लिए है। उन्होंने दावा किया कि आज असम के विभिन्न हिस्सों से करीब 8 हजार लोग कांग्रेस से जुड़े हैं। यह सिर्फ एक राजनीतिक कार्यक्रम नहीं, बल्कि जनता का आंदोलन है।
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(Udaipur Kiran) / श्रीप्रकाश