Madhya Pradesh

अनूपपुर: यातायात पुलिस का नवाचार: क्यूआर कोड स्कैन कर मुफ्त पाइए में हेलमेट

हेलमेट बैंक का शुभारंभ पुलिस अधीक्षक मोती उर रहमान
हेलमेट के साथ पुलिस अधीक्षक मोती उर रहमान
क्यूआर कोड स्कैन करने का प्रारूप

अनूपपुर, 6 सितंबर (Udaipur Kiran) । सड़क दुर्घटना में कमी लाने और लोगों के जीवन को सुरक्षित करने के उद्देश्य से यातायात पुलिस द्वारा लगातार अभियान चलाया जा रहा है। वाहन चालको का जीवन को सुरक्षित करने के उद्देश्यो से अनूपपुर पुलिस नवाचार करते हुए जिले में हेलमेट बैंक की शुरुआत की है, जिसमे क्यूआर कोड के माध्यम से स्कैन कर आप अपना रजिस्ट्रेशन कर हेलमेट ले सकते हैं। यह तीन दिवस मुफ्त रहेंगा इसके बाद प्रत्येनक दिवस का सरचार्ज लगेगा। हेलमेट बैंक की जानकारी देते हुए पुलिस अधीक्षक ने बताया कि यह निश्चित तौर पर एक नवाचार है और इससे लोगों में जागरूकता के साथ-साथ अपने जीवन के प्रति एक सतर्कता भी देखने को मिलेगी। अनूपपुर यातायात पुलिस निश्चित तौर पर जागरूकता लाने और सड़क दुर्घटनाओं को कम करने के उद्देश्य से यह अभियान चला रही है। शनिवार को हेलमेट बैंक का उद्घाटन पुलिस अधीक्षक मोती उर रहमान के द्वारा किया गया।

पुलिस अधीक्षक मोती उर रहमान ने बताया गया की अनूपपुर यातायात पुलिस लगातार सड़क दुर्घटनाओं में कमी लाने के लिए तरह-तरह के नवाचार कर रहीं है, जिसमे हेलमेट बैंक के भी शुरुआत की गई है ताकि लोग सफर के दौरान सुरक्षित रहे। आमतौर पर यह देखने को मिलता है कि सड़क दुर्घटनाओं में कई लोग अपनी जान इसलिए गवा देते हैं कि वह सफल के दौरान दो पहिया वाहन चालक हेलमेट का उपयोग नहीं करते हैं आंकड़े बता रहे हैं की लगातार यातायात पुलिस के द्वारा किए गए नवाचार के कारण वर्ष 2024 में जहां मार्च से जुलाई के बीच में 147 दुर्घटनाएं हुई है जिसमें 201 लोग गंभीर रूप से घायल हुए हैं वहीं 79 लोग अपने अपनी जान गवाही हैं लेकिन हेलमेट की चलानी करवाई और ड्रिंक एंड ड्राइव केस के मामले में आई कमी के चलते वर्ष 2025 में मृतकों की संख्या में 14% से भी अधिक कमी देखने को मिली है जहां 2025 में 69 लोगों ने अपनी जान कमाई है वहीं घायल 190 हुए हैं कुल मिलाकर 152 दुर्घटनाएं अभी तक बताई गई।

यातायात प्रभारी विनाेद दुबे ने बताया कि हेलमेट बैंक यातायात पुलिस संचालित कर रही है, जहां पर महिला व पुरुष दोनों वर्गों के लिए हेलमेट उपलब्ध है। धीरे-धीरे मांग के आधार पर यह हेलमेट आगे भी उपलब्ध कराए जाएंगे। हेलमेट बैंक से पुलिस की शुरूआत करने का उद्देश्यग हैं कि सड़क दुर्घटना में जाने वाली जिंदगी को सुरक्षित किया जा सके। वहीं कई बार गंभीर घायल भी दुर्घटना का शिकार होकर अपनी जान गवा बैठते हैं और कई बार यह भी देखने को मिला है कि हेलमेट न होने के कारण सफर के दौरान आदमी की जान भी चली जाती है ऐसे में यह हेलमेट उनको सुरक्षित रखने में का काम करेगा।

इस हेलमेट बैंक से आने वाले समय में सड़क दुर्घटनाओं में कमी लाने का प्रयास होगा। जिस किसी को भी हेलमेट की आवश्यकता है वह कोड को स्कैन कर उसमें अपना रजिस्ट्रेशन करें और अपनी पूरी जानकारी भरने के पश्चात बैंक में आकर अपना हेलमेट प्राप्त कर सकते हैं। यह हेलमेट उन्हें 3 दिन के लिए मुफ्त में दिया जाएगा और तीन दिन में उन्हें हेलमेट वापस करना होगा। ऐसे में व्यापारी छात्र वर्ग और तमाम लोग इस हेलमेट बैंक का लाभ ले सकते हैं।

(Udaipur Kiran) / राजेश शुक्ला

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