
वडोदरा, 22 नवंबर (Udaipur Kiran) । गुजरात राज्यभर में चल रही मतदाता सूची सुधार और सत्यापन (एसआईआर) की कार्यवाही अब कर्मचारियों के लिए जानलेवा दिख रही है। कोडीनार में शिक्षक के आत्महत्या की घटना अभी लोग भूले भी नहीं थे कि 22 नवंबर को वडोदरा में एक महिला सहायक बीएलओ की ड्यूटी के दौरान अचानक मौत हो गई। इस घटना से सरकारी कर्मचारियों में शोक और आक्रोश फैल गया है।
मूल रूप से नर्मदा जिले के तिलकवाड़ा निवासी और वर्तमान में वडोदरा के गोरवा सरकारी क्वार्टर्स में रहने वाली उषाबेन इंद्रसिंह सोलंकी, गोरवा आईटीआई में कार्यरत थीं। एसआईआर की चल रही चुनावी कार्यवाही में उन्हें सयाजीगंज–कड़क बाजार क्षेत्र की एक स्कूल में सहायक बीएलओ के रूप में नियुक्त किया गया था।
शनिवार को कार्य के दौरान अचानक उषाबेन को सीने में तेज दर्द हुआ और वे बेहोश होकर गिर पड़ीं। सहकर्मियों ने उन्हें तुरंत एसएसजी अस्पताल पहुँचाया, जहाँ डॉक्टरों ने जांच के बाद उन्हें मृत घोषित कर दिया। उषाबेन की अचानक मौत से परिवार पर दुख का पहाड़ टूट पड़ा है। उनके पति इंद्रसिंह सोलंकी ने प्रशासन पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि एसआईआर की कार्यवाही के कारण कर्मचारियों पर अत्यधिक दबाव और असहनीय कार्यभार है। उनका कहना है कि इसी तनाव के चलते उषाबेन को हार्ट अटैक आया। घटना के बाद वरिष्ठ अधिकारी भी एसएसजी अस्पताल पहुँचे हैं।
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(Udaipur Kiran) / यजुवेंद्र दुबे