
नई दिल्ली, 11 नवंबर (Udaipur Kiran) । चालू वित्त 2025-26 में अब तक शुद्ध प्रत्यक्ष कर संग्रह में सात फीसदी की बढ़ोतरी दर्ज हुई है। कॉरपोरेट कर संग्रह में वृद्धि और धीमी रिफंड दर के कारण कर राजस्व बढ़कर 12.92 लाख करोड़ रुपये से अधिक हो गया है। हालांकि, टैक्स रिफंड में 18 फीसदी की गिरावट दर्ज की गई है। एक अप्रैल से 10 नवंबर के बीच कुल 2.42 लाख करोड़ रुपये के रिफंड जारी किए गए हैं।
आयकर विभाग ने ‘एक्स’ पोस्ट पर बताया कि वित्त 2025-26 में अब तक शुद्ध प्रत्यक्ष कर संग्रह सात फीसदी बढ़कर 12.92 लाख करोड़ रुपये से अधिक हो गया है। इस अवधि में कॉरपोरेट टैक्स से शुद्ध संग्रह बढ़कर 5.37 लाख करोड़ रुपये पहुंच गया। यह पिछले वित्त वर्ष की समान अवधि में 5.08 लाख करोड़ रुपये था। वहीं, गैर-कॉरपोरेट टैक्स (जिसमें व्यक्तिगत करदाता और हिंदू अविभाजित परिवार शामिल हैं) से अब तक 7.19 लाख करोड़ रुपये की वसूली हुई है, जो पिछले वित्त वर्ष इसी अवधि में 6.62 लाख करोड़ रुपये था। इस अवधि में अब तक प्रतिभूति लेनदेन कर (एसटीटी) संग्रह 35,682 करोड़ रुपये रहा है, जो पिछले साल की इसी अवधि में करीब 35,923 करोड़ रुपये था।
आंकड़ों के मुताबिक सकल प्रत्यक्ष कर संग्रह, जिसमें व्यक्तिगत आयकर और कॉरपोरेट कर शामिल हैं, चालू वित्त वर्ष 2025-26 में 10 नवंबर तक सालाना आधार पर 7 फीसदी बढ़कर 12.92 लाख करोड़ रुपये रहा। पिछले वित्त वर्ष की समान अवधि में यह करीब 12.08 लाख करोड़ रुपये रहा था। रिफंड समायोजित करने से पहले सकल प्रत्यक्ष कर संग्रह चालू वित्त वर्ष में अबतक 15.35 लाख करोड़ रुपये से अधिक रहा, जो पिछले वित्त वर्ष की इसी अवधि की तुलना में 2.15 फीसदी अधिक है।
चालू वित्त वर्ष 2025-26 में केंद्र सरकार ने प्रत्यक्ष कर संग्रह 25.20 लाख करोड़ रुपये रहने का अनुमान जताया है, जो सालाना आधार पर 12.7 फीसदी अधिक है। सरकार का लक्ष्य वित्त वर्ष 2025-26 में एसटीटी से 78,000 करोड़ रुपये जुटाना है।
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(Udaipur Kiran) / प्रजेश शंकर