
श्योपुर, 30 अक्टूबर (Udaipur Kiran) । अरब सागर और बंगाल की खाड़ी में सक्रिय दो गहरे दबाव के चलते उत्तर भारत में बने साइक्लोनिक सर्कुलेशन का असर अब मध्य प्रदेश में भी दिखाई देने लगा है। राज्य के कई हिस्सों में बुधवार को रुक-रुक कर बारिश हुई, जबकि गुरूवार को भी यही सिलसिला जारी है। जिससे सूबे में किसानों के लिए नई मुसीबत बन गई है।
श्योपुर के सिरसोद गांव में बुधवार को एक किसान ने आत्महत्या कर ली। शव खेत में पेड़ पर फंदे से लटका मिला। मृतक की पहचान कैलाश मीणा (50) के रूप में हुई है। परिजन सड़क पर शव रखकर प्रदर्शन कर रहे हैं। वे मुआवजे की मांग कर रहे हैं।
ग्रामीणों ने बताया कि कैलाश मीणा ने करीब 9 बीघा में धान की खेती की थी। पिछले तीन दिन से हो रही लगातार बारिश के कारण खेत में लगी पूरी फसल पानी में सड़ने लगी थी। कीमती बीज, खाद और मेहनत से उगाई गई फसल के नुकसान से कैलाश काफी परेशान था।
ग्रामीण शव उतारकर अस्पताल ले गए परिजनों ने बताया कि कैलाश सुबह घर से खेत के लिए निकला था। कुछ देर बाद ग्रामीणों ने उसे खेत में एक पेड़ से लटका हुआ देखा। वे शव को नीचे उतारकर जिला अस्पताल ले गए, जहां डॉक्टरों ने कैलाश को मृत घोषित कर दिया। घटना की जानकारी मिलते ही पुलिस और प्रशासनिक अधिकारी अस्पताल पहुंचे। पुलिस ने पंचनामा तैयार कर शव का पोस्टमॉर्टम कराया है। अस्पताल से शव को एम्बुलेंस के माध्यम से घर भेजने की तैयारी की जा रही थी, लेकिन विधायक और उनके समर्थकों ने एम्बुलेंस को रोकते हुए कहा कि जब तक उचित मुआवजे की घोषणा नहीं की जाती, तब तक शव नहीं ले जाने देंगे। पुलिस प्रशासन ने उन्हें समझाया, इसके बाद शव को गांव ले जाया गया।
शव को बीच रास्ते में रखकर किया चक्काजाम
गांव पहुंचते ही किसान के शव को बीच रास्ते में रखकर ग्रामीणों ने चक्काजाम कर दिया। बड़ी संख्या में किसान और ग्रामीण मुआवजा देने की मांग पर अड़ गए हैं। धरनास्थल पर विधायक बाबू जंडेल सहित कांग्रेस के नेता, महिलाओं और बुजुर्गों के साथ स्थानीय किसान भी मौजूद हैं।
ग्रामीणों का कहना है कि जब तक सरकार उचित आर्थिक सहायता और परिवार के एक सदस्य को नौकरी देने के संबंध में ठोस घोषणा नहीं करती, तब तक शव का अंतिम संस्कार नहीं किया जाएगा।
विधायक ने 50 लाख मुआवजे की मांग की
प्रशासन और पुलिस अधिकारी जब एम्बुलेंस से शव गांव ले जा रहे थे, तभी श्योपुर कांग्रेस विधायक बाबू जंडेल अपने कार्यकर्ताओं के साथ जिला अस्पताल पहुंचे। उन्होंने किसान के परिजनों से मुलाकात की और प्रशासन से मृतक के परिवार को 50 लाख रुपए का मुआवजा देने की मांग की। विधायक ने कहा कि जिले में लगातार बारिश से किसानों की स्थिति खराब हो गई है और सरकार को तत्काल राहत के लिए ठोस कदम उठाने चाहिए।
मौके पर भारी पुलिस बल तैनात
घटना स्थल पर भारी पुलिस बल तैनात किया गया है। प्रशासन किसानों को समझाने की कोशिश कर रहा है। एसडीएम और तहसील प्रबंधन की टीम ग्रामीणों से लगातार बातचीत कर समाधान निकालने में जुटी है।
हिन्दुस्थान समाचार/सुरेश
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(Udaipur Kiran) / राजू विश्वकर्मा
