
गुवाहाटी, 27 अक्टूबर (Udaipur Kiran) । कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे के पुत्र तथा कर्नाटक के मंत्री प्रियंक खड़गे द्वारा असम के लोगों को उद्योग स्थापित करने में अयोग्य और प्रतिभाहीन कहने वाले बयान पर असम में तीखी प्रतिक्रिया देखने को मिली है। भाजपा ने इसे असमवासियों के आत्मसम्मान पर सीधा प्रहार बताया है।
भाजपा के प्रवक्ता जयंत कुमार गोस्वामी ने सोमवार को पार्टी के प्रदेश मुख्यालय अटल बिहारी वाजपेयी भवन में आयोजित संवाददाता सम्मेलन में असम प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष गौरव गोगोई को खुली चुनौती दी। उन्होंने कहा, “अगर गौरव गोगोई में हिम्मत है, तो वह कांग्रेस के मंत्री प्रियंक खड़गे के असम विरोधी बयान की सार्वजनिक निंदा करें और उसके खिलाफ प्रस्ताव पारित करें।”
गोस्वामी ने कहा कि कांग्रेस पार्टी ने ऐतिहासिक रूप से असम और पूर्वोत्तर क्षेत्र के साथ हमेशा अपमान और भेदभाव का व्यवहार किया है।
उन्होंने कहा कि 1962 में तत्कालीन प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू ने चीन के सामने आत्मसमर्पण कर असम और पूर्वोत्तर को चीन के हवाले करने जैसा कदम उठाया था।
1971 में इंदिरा गांधी द्वारा पाकिस्तान को तोड़कर बांग्लादेश बनाने के निर्णय ने असम में करीब 40 लाख अवैध बांग्लादेशी घुसपैठियों का रास्ता खोल दिया।
उन्होंने कहा कि राजीव गांधी ने असम समझौते के माध्यम से 1971 को नागरिकता की कट-ऑफ तिथि तय कर 1951 के बजाय बड़ी संख्या में अवैध प्रवासियों को नागरिकता का अधिकार दिया। हाल में राहुल गांधी ने ‘भारत जोड़ो यात्रा’ के दौरान भारत का जो नक्शा प्रदर्शित किया, उसमें असम और पूर्वोत्तर को ही गायब कर दिया था।
भाजपा प्रवक्ता ने कहा कि कांग्रेस की इन ऐतिहासिक भूलों के कारण आज असम आर्थिक रूप से पिछड़ा है और राज्य में अवैध प्रवासियों की निरंतर घुसपैठ से सामाजिक असंतुलन गहराता जा रहा है।
(Udaipur Kiran) / श्रीप्रकाश