
लखनऊ, 25 अक्टूबर (Udaipur Kiran) । अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद राष्ट्रीय कला मंच लखनऊ महानगर की ओर से शनिवार को लखनऊ विश्वविद्यालय के गांधी प्रतिमा पार्क में विचारदीप काव्य संगोष्ठी का आयोजन किया गया। इस अवसर पर छठ पूजा विषय पर सजीव चित्रांकन किया तथा भारतीय संस्कृति, लोक-आस्था और काव्य परंपरा पर केंद्रित संगोष्ठी सम्पन्न हुई।
कार्यक्रम में युवा कवियों ने अपनी स्वरचित कविताओं का पाठ करते हुए भारतीय परम्परा, सांस्कृतिक गौरव एवं सामाजिक चेतना के भावों को अभिव्यक्त किया। वक्ताओं ने कहा कि ‘विचारदीप’ जैसे आयोजन नवपीढ़ी में साहित्यिक चेतना जगाने के साथ-साथ भारतीय संस्कृति के आदर्शों को आत्मसात करने की प्रेरणा देते हैं।
राष्ट्रीय कला मंच की कार्यकर्ता एवं विश्वविद्यालय की ललित कला विभाग के विद्यार्थी शिवम, दिव्यांशी, सिद्धार्थ और आकाश ने छठ पूजा विषय पर सजीव चित्रांकन किया तथा कार्यक्रम का संचालन राष्ट्रीय कला मंच अवध प्रान्त के प्रान्त सह संयोजक आशुतोष श्रीवास्तव ने किया।
कार्यक्रम का आरम्भ संस्कृत विभाग के छात्र हर्षित और शोभित ने संस्कृत मंत्रोच्चरण से हुआ। कविता पाठ के क्रम में प्रखर ने अपनी कविता “जो स्वप्न अभी तक देखें हैं, सच करने की तैयारी है! संघर्ष अभी भी जारी है!” का पाठ किया। अभिषेक ‘अभिराम’ ने अपनी कविता बने शिशुपाल जो कोई बनो फिर कृष्णा जैसा तुम! कविता का पाठ किया इसके अतिरिक्त रोहित, दिव्यांश, शिवम श्रीवास्तव, सत्यदेव, मानस मिश्र, हर्षित एवं शोभित ने अपनी स्वरचित कविताओं से श्रोताओं को भावविभोर किया। इसके बाद सभी कवियों और कला-साधक को सम्मानित किया गया।
कार्यक्रम में शिवम सांवरा ने मनमोहक बांसुरी वादन प्रस्तुत कर वातावरण को मधुर और भक्तिमय बना दिया। इस अवसर पर मुख्य रूप से राष्ट्रीय कला मंच की प्रान्त संयोजक कुसुम कनौजिया, अवध प्रान्त के क्षेत्रीय कार्यालय मंत्री अभिनव ‘खालसा’, प्रान्त शोध कार्य संयोजक तान्या तिवारी तथा राष्ट्रीय कला मंच की प्रान्त सह संयोजक हर्षिका सहित तमाम विद्यार्थी उपस्थित रहे।
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(Udaipur Kiran) / मोहित वर्मा
