
नई दिल्ली, 10 अक्टूबर (Udaipur Kiran News) । केंद्रीय पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री भूपेंद्र यादव ने शुक्रवार को राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र में वायु गुणवत्ता प्रबंधन पर उच्च स्तरीय समीक्षा बैठक की। इस बैठक में उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिया कि किसानों को पराली जलाने की घटनाओं को रोकने के लिए केंद्र और राज्य सरकारों द्वारा शुरू की गई सभी योजनाओं का लाभ मिलना चाहिए। इस बात पर भी ज़ोर दिया गया कि कटाई के मौसम के बाद पराली के उचित उपयोग के लिए पर्याप्त भंडारण क्षेत्र सुनिश्चित किए जाएं।
इस अवसर पर भूपेन्द्र यादव ने राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र में लाल श्रेणी और 17 प्रदूषणकारी उद्योगों में ऑनलाइन सतत उत्सर्जन निगरानी प्रणाली (ओसीईएमएस) की स्थापना की स्थिति की समीक्षा की। उन्होंने इन उद्योगों में समयबद्ध तरीके से ओसीईएमएस स्थापित करने की आवश्यकता पर जोर दिया।
इसके साथ बैठक में पंजाब, हरियाणा और उत्तर प्रदेश में धान की पराली प्रबंधन की स्थिति की भी समीक्षा की।
उन्होंने सीएक्यूएम को सभी एजेंसियों को समीर ऐप का पालन करने के निर्देश जारी करने का निर्देश दिया। उन्होंने दिल्ली सरकार से दिल्ली में गड्ढों की मरम्मत के लिए विशिष्ट कार्य योजना प्रस्तुत करने का अनुरोध किया।
बैठक में आवास एवं शहरी मामलों के मंत्रालय, कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय, सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय, नीति आयोग, सीएक्यूएम, सीपीसीबी, दिल्ली सरकार, हरियाणा, पंजाब, उत्तर प्रदेश, राजस्थान के प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड और अन्य संबंधित एजेंसियों सहित प्रमुख हितधारकों ने भाग लिया।
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(Udaipur Kiran) / विजयालक्ष्मी
