HimachalPradesh

मंडी के मनीष कुमार ने मुख्यमंत्री सुख-आश्रय योजना से पाया स्वरोजगार और आत्मनिर्भरता

मनीष कुमार अपने खेतों में।

मंडी, 7 अक्टूबर (Udaipur Kiran News) । मंडी जिला के उत्तरशाल क्षेत्र की कटौला पंचायत के दरलोग निवासी मनीष कुमार ने मुख्यमंत्री सुख-आश्रय योजना की मदद से आत्मनिर्भर बनने का सपना साकार किया है। कठिनाइयों से भरे जीवन के बावजूद मनीष ने योजना की सहायता से स्वरोजगार के क्षेत्र में सफलता की नई इबारत लिखी है।

मनीष के माता-पिता का निधन उनके मात्र चार वर्ष के उम्र में हो गया था, और उनका पालन-पोषण उनके दादा-दादी ने किया। बारहवीं तक की पढ़ाई पूरी करने के बाद उन्होंने अपनी आठ बीघा जमीन पर पारंपरिक खेती शुरू की, लेकिन सीमित संसाधनों और पारंपरिक तकनीक के कारण उनकी आय बहुत कम थी। जीवन में आर्थिक संघर्ष के बावजूद मनीष ने हार नहीं मानी और मुख्यमंत्री सुख-आश्रय योजना के बारे में जानकारी मिलने पर योजना के तहत स्वरोजगार के लिए आवेदन किया।

उन्हें दो लाख रुपए की वित्तीय मदद प्राप्त हुई। इस राशि से मनीष ने कृषि उपकरण जैसे पावर टिलर, टुल्लू पंप, ग्रास कटर और स्प्रे पंप खरीदे। उन्होंने गोभी और टमाटर की खेती प्रारंभ की और प्राकृतिक खेती अपनाकर आधुनिक कृषि तकनीक के साथ उत्पादन बढ़ाया। इस कदम से मनीष की आर्थिक स्थिति मजबूत हुई और उन्होंने पारंपरिक खेती से हटकर नवीनतम तकनीकों को अपनाया।

आज मनीष सालाना लगभग दो लाख रुपए की शुद्ध आय कमा रहे हैं। उन्होंने अपनी सफलता का श्रेय प्रदेश सरकार और मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू की महत्वाकांक्षी सुख-आश्रय योजना को दिया। मनीष ने कहा कि इस योजना ने उन्हें आत्मनिर्भर बनने का विश्वास और संबल दिया, और यह साबित किया कि कठिनाइयों के बाद भी सफलता हासिल की जा सकती है।

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(Udaipur Kiran) / मुरारी शर्मा

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